Aligarh News: यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ के निर्देश के 15 दिन बाद आज, रविवार शाम तक आगरा की डॉ भीमराव अंबेडकर यूनिवर्सिटी से 5500 से अधिक फाइलें, दस्तावेज अलीगढ़ की राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी को मिल जाएंगी. 21 जनवरी 2022 से इन दस्तावेजों के लिए राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी प्रयासरत थी.
राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी के कुलपति प्रोफेसर चंद्रशेखर ने प्रभात खबर को बताया कि आज रविवार शाम तक डॉ अंबेडकर यूनिवर्सिटी आगरा से 5500 से ज्यादा फाइलें राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी को मिल जाएंगी. राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी से अटैच असिस्टेंट रजिस्ट्रार कैलाश बिष्ट सभी फाइलों को लेकर अलीगढ़ पहुंचेंगे.
22 अप्रैल 2022 को सीएम योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में नए विश्वविद्यालय राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी अलीगढ़, महाराजा सुहेलदेव राज्य विश्वविद्यालय आजमगढ़, मां शाकंभरी विश्वविद्यालय सहारनपुर के कुलपतियों और पुराने विश्वविद्यालय डॉक्टर बी आर अंबेडकर यूनिवर्सिटी आगरा, वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर, चौधरी चरण सिंह यूनिवर्सिटी मेरठ के कुलपतियों के साथ बैठक ली थी.
बैठक में सीएम ने डॉ भीमराव अंबेडकर यूनिवर्सिटी के कुलपति को राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी अलीगढ़ के लिए पत्रावली दस्तावेज आदि प्रकार के सहयोग करने को कहा. 3-4 दिन में सभी फाइलें सौंपने की बात कही गई थी, लेकिन 15 दिन बाद राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी से संबद्ध हुए अलीगढ़, हाथरस, एटा, कासगंज के 400 से अधिक डिग्री कॉलेजों की फाइलें मिल रही हैं.
28 अप्रैल 2021 के शासनादेश के अनुसार 15 जून 2021 से अलीगढ़, एटा, हाथरस, कासगंज के समस्त महाविद्यालय राजा महेंद्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय से संबद्ध हो गए हैं. इन जिलों के महाविद्यालयों से संबंधित समस्त पत्रावली अभिलेख डाटा प्राप्ति के लिए राजा महेंद्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय ने डॉ भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय, आगरा को 21 जनवरी, 4 फरवरी 2022 को लिखा.
16 फरवरी को राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार व्यक्तिगत रूप से मिले. 24 फरवरी को राजभवन में आयोजित कुलपतिगणों की बैठक में कुलाधिपति द्वारा पुराने विश्वविद्यालय को नए विश्वविद्यालय के सहयोग करने के निर्देश दिए थे. 8 मार्च 2022 को फिर डॉ भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय के कुलपति द्वारा विचार विमर्श किया गया, परंतु आगरा यूनिवर्सिटी ने समस्त पत्रावली, अभिलेख और डाटा राजा महेंद्र प्रताप सिंह यूनिवर्सिटी को उपलब्ध नहीं कराए.
रिपोर्ट- चमन शर्मा