Nitin Gadkari, Vehicle Scrappage Policy: केंद्र सरकार एक ऐसी पॉलिसी को फाइनल ड्राफ्ट देने में जुटी है, जिसके तहत आपको नयी गाड़ी की खरीद पर अच्छी खासी छूट मिल जाएगी. दरअसल, देश भर में 10 साल से 15 साल पुराने वाहनों की संख्या काफी ज्यादा है जिसकी वजह से देश में प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ रहा है.
बढ़ते प्रदूषण के स्तर को कम करने और पुराने वाहनों को सड़क से हटाने के लिए सरकार व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी Vehicle scrappage policy पर काम कर रही है. इस पॉलिसी के तहत लोगों को अपने पुराने वाहनों को बेचने और नये वाहन खरीदने के लिए प्रोत्साहन दिया जाएगा और नये वाहनों की खरीद पर 30 प्रतिशत तक का डिस्काउंट दिया जा सकता है. पुराने वाहनों को बेचने और नये वाहन खरीदने से जुड़ी हर Breaking News in Hindi से अपडेट के लिए बने रहें हमारे साथ.
देशभर में जल्द लागू होगी पॉलिसी
बताया जा रहा है कि लॉकडाउन खत्म होने के बाद और फेस्टिव सीजन के दौरान नये वाहनों की बिक्री में व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी की बड़ी भूमिका होगी. अभी हाल ही में ऑटोमोटिव कॉम्पोनेन्ट मैन्युफैक्चरर्स असोसिएशन ऑफ इंडिया (Automotive Component Manufacturers Association of India, ACMA) के सालाना सत्र में बोलते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) ने कहा था कि ऑटो स्क्रैपेज पॉलिसी अपने आखिरी चरण में है और इस महीने के अंत तक यह भारत में लागू हो सकती है. गडकरी ने कहा था कि केंद्र सरकार की मंजूरी मिलते ही इस पॉलिसी को देश भर में लागू कर दिया जाएगा.
Also Read: Most Affordable Car: छोटी गाड़ियों की बड़ी डिमांड, इन कारों की हो रही जबरदस्त सेल
आपको क्या फायदा होगा?
व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी या ऑटो स्क्रैपेज पॉलिसी लागू होने के बाद आप कोई कार खरीदते हैं, जिसकी कीमत 10 लाख रुपये है तो इस कार पर 30 प्रतिशत के हिसाब से आपको लगभग 3 लाख का डिस्काउंट मिल सकता है. इसके बाद इस कार की कीमत 7 लाख हो जाएगी. इस नीति से वायु प्रदूषण, ईंधन खपत और सड़क दुर्घटनाएं कम करने में मदद तो मिलेगी ही, ऑटोमोबाइल सेक्टर को भी फायदा होगा क्योंकि मंदी और महामारी की वजह से ऑटोमोबाइल कंपनियों को काफी नुकसान हो चुका है.
पेट्रोल वाहन 15 साल, डीजल वाहन 10 साल
बताते चलें कि मौजूदा समय में देश भर में चल रहे पुराने वाहनों को सड़क से हटाने के लिए किसी भी तरह की नीति लागू नहीं है और यही वजह है कि तय समय अवधि पूरी होने के बावजूद लोग अपने पुराने वाहनों को सड़कों पर चलाते हैं. इस समय देश में पेट्रोल वाहन को 15 साल अधिकतम और डीजल वाहन को 10 साल अधिकतम चलाने की अनुमति है, लेकिन लोग इससे भी ज्यादा समय तक पुराने वाहनों का इस्तेमाल लगातार कर रहे हैं. इससे प्रदूषण में इजाफा हो रहा है क्योंकि पुराने वाहनों से ज्यादा प्रदूषण फैलता है. इस प्रदूषण को कम करने के लिए सरकार व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी जल्द लागू करने वाली है.