धनबाद; वृद्धावस्था एवं विधवा पेंशन के चयन में पात्रों की अनदेखी का आरोप कोई नयी बात नहीं है. सैकड़ों की संख्या में अपात्र पेंशन पा रहे हैं, जबकि पात्र लाभार्थियों का चयन न होने की वजह से वे दर-दर की ठोकरें खाने को विवश हैं. यही नहीं, ऐसे कतिपय लोग हैं, जो बंद पेंशन शुरू कराने को लेकर परेशान हैं.
सोमवार को झरिया अंचल कार्यालय में कई महिला-पुरुष भटकते मिले. कई नये पात्र आवेदनकर्ता वृद्धा व विधवा पेंशन के लिए आवेदन के बारे में जानकारी लेने पहुंचे थे. ऐसे लोगों को सही जानकारी देनेवाला कोई नहीं था. हालांकि दो मामलों में अंचलाधिकारी ने पंचायत चुनाव के बाद कार्यवाही का आश्वासन दिया.
वार्ड 47 के लोदना श्रमिक कल्याण डिस्को नगर निवासी स्व. ब्रह्मदेव बर्णवाल की पत्नी लालती देवी ने बताया कि उसके पति को मरे 20 वर्ष हो गये. इकलौते पुत्र कृष्णा का निधन भी आठ वर्ष पूर्व हो चुका है. सरकार से सिर्फ पीडीएस का चावल मिलता है. तीन साल पहले छह सौ रुपये वृद्धा पेंशन मिलती थी. वह भी बंद हो गयी है. अगर पेंशन मिलती तो मसाला, तेल, आलू खरीद कर जीवन-यापन कर लेती.
लालती के अनुसार, सरकार आपके द्वार कार्यक्रम में आवेदन किया था. दाई का काम करती थी, पर अब वृद्धावस्था के कारण काम नहीं कर पाती हैं. झरिया सीओ व पेंशन विभाग के कर्मियों से मिल कर कई बार गुहार लगायी, लेकिन उसके आवेदन पर क्या कार्यवाही हुई, बाबुओं से इसकी सही जानकारी नहीं मिलती है.
सीओ ने अब दिया आश्वासन
बोरापट्टी झरिया निवासी मो सरफराज हुसैन का निधन 2017 में हो गया था. उनकी पत्नी रेहाना बानो ने विधवा पेंशन के लिए आवेदन किया. रेहाना पेंशन चालू कराने को लेकर लगातार अंचल कार्यालय के कर्मचारियों से मिलती रहीं. हमेशा उनको एक ही जवाब मिलता कि उनका पेपर चला गया है. सोमवार को रेहाना ने झरिया सीओ प्रमेश कुशवाहा से मिलकर अपनी फरियाद सुनायी. सीओ ने पंचायत चुनाव के बाद पेंशन चालू कराने की बात कही.
छह माह से पेंशन बंद
कुम्हारपट्टी राज ग्राउंड झरिया के रहनेवाले रामविलास प्रसाद केसरी ने कहा कि वृद्धा पेंशन छह माह से बंद है. चालू कराने के लिए लगातार अंचल कार्यालय आकर कर्मचारियों से गुहार लगा रहे हैं. लेकिन कोई भी सही जवाब नहीं देता है. बस यही कहते हैं, पेंशन जल्द चालू हो जायेगी. उन्होंने आज सीओ से भेंट कर अपनी बंद पेंशन चालू कराने की बात कही. सीओ ने कहा कि पंचायत चुनाव के बाद समस्या का समाधान किया जायेगा.
विधवा पेंशन नहीं मिल रही
झरिया मानबाद निवासी स्व. रोबिन मोदक की पत्नी कल्पना देवी ने बताया कि उसके पति की मौत 2020 में खुले नाले में गिर कर हो गयी थी. उसने विधवा पेंशन के लिए एक वर्ष पूर्व आवेदन किया था, लेकिन अभी तक कुछ नहीं हुआ. उसको दो नाबालिग बच्चे हैं, जिनका भरण-पोषण उसके कंधे पर है. विधवा पेंशन मिलती, तो कुछ आर्थिक सहयोग हो जाता. वर्तमान में लोगों के घरों में दाई का कार्य कर अपना व बच्चों का पेट पाल रही है. अंचल कार्यालय के बाबुओं से मिलकर कई बार पेंशन की बात की. लेकिन कोई सुनता नहीं है.
Posted by: Sameer Oraon