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डेल्टा म्यूटेंट के बाद अब डेल्टा प्लस म्यूटेंट ने बढ़ायी चिंता, केंद्र सरकार ने झारखंड को किया आगाह, दिया ये निर्देश

Jharkhand News, रांची न्यूज : झारखंड में कोरोना की दूसरी लहर में कहर बरपाने वाले डेल्टा म्यूटेंट के बाद अब डेल्टा प्लस म्यूटेंट ने चिंता बढ़ा दी है. केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र, केरल और मध्यप्रदेश में डेल्टा प्लस की पुष्टि होने के बाद झारखंड को सावधान करते हुए विशेष एहतियात बरतने को कहा है. रांची के रिम्स के माइक्रोबायोलॉजी विभाग के एचओडी डॉ मनोज कुमार बताते हैं कि कोरोना गाइडलाइंस का पालन ही इससे बचाव है. लापरवाही नहीं बरतें.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 25, 2021 3:35 PM

Jharkhand News, रांची न्यूज : झारखंड में कोरोना की दूसरी लहर में कहर बरपाने वाले डेल्टा म्यूटेंट के बाद अब डेल्टा प्लस म्यूटेंट ने चिंता बढ़ा दी है. केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र, केरल और मध्यप्रदेश में डेल्टा प्लस की पुष्टि होने के बाद झारखंड को सावधान करते हुए विशेष एहतियात बरतने को कहा है. रांची के रिम्स के माइक्रोबायोलॉजी विभाग के एचओडी डॉ मनोज कुमार बताते हैं कि कोरोना गाइडलाइंस का पालन ही इससे बचाव है. लापरवाही नहीं बरतें.

आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने झारखंड सरकार को भेजे गये पत्र में कहा है कि डेल्टा प्लस के कारण तीसरी लहर के आने की आशंका है. ऐसे में इसकी रोकथाम के उपायों पर जोर देने जरूरत है. इसके लिए केंद्र सरकार ने व्यापक स्तर पर कोरोना जांच करने, कोरोना पॉजिटिव मरीजों की सघन और त्वरित कांटैक्ट ट्रेसिंग कर जांच करने एवं टीकाकरण की रफ्तार बढ़ाने को कहा है. केंद्र सरकार ने आगाह किया है कि भीड़ को रेाकने एवं कोरोना प्रोटोकॉल का पालन सुनिश्चित करें.

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रांची के रिम्स के माइक्रोबायोलॉजी विभाग के एचओडी डॉ मनोज कुमार ने जानकारी दी है कि कोरोना के नए म्यूटेंट डेल्टा प्लस में अतिरिक्त म्यूटेंट के 417एन है, जो डेल्टा (बी.1.617.2) को डेल्टा प्लस में बदल देता है. आशंका है कि ये म्यूटेंट अधिक संक्रामक है, लेकिन भारत में इसकी संख्या बहुत कम है. उन्होंने कहा कि जिन इलाकों में डेल्टा प्लस वैरिएंट के मरीज मिले हैं, वहां पॉजिटिविटी रेट काफी अधिक रही है.

रांची के रिम्स के माइक्रोबायोलॉजी विभाग के एचओडी डॉ मनोज कुमार बताते हैं कि कोरोना संक्रमण से ठीक हो चुके मरीजों में बना एंटीबॉडी भी डेल्टा प्लस वैरिएंट के खिलाफ उतना कारगर नहीं है. इसके लिए भी सबसे ज्यादा कारगर कोरोना प्रोटोकॉल ही है. इससे बचने का उपाय है कि भीड़ भाड़ से बचें. मास्क का प्रयोग जरूर करें. हाथ धोते रहें और अनावश्यक घर से बाहर नहीं निकलें.

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आपको बता दें कि झारखंड में कोरोना की दूसरी लहर के दौरान (अप्रैल से 9 जून 2021) जिनोम सीक्‍वेंसिंग के लिए 364 सैंपल भुवनेश्वर (आईएलएस) भेजे गये थे. इसमें से 90 प्रतिशत यानी 328 सैंपल में डेल्टा, कप्पा, अल्फा समेत आठ म्यूटेंट मिले थे. चिंता ये है कि 362 में से 62.19 प्रतिशत (204) सैंपल में डेल्टा वेरिएंट की पुष्टि हुई है.

झारखंड के पांच जिले रांची, जमशेदरपुर, धनबाद, हजारीबाग और पलामू से भेजे गये 328 सैंपल में से 204 में डेल्टा, 63 में कप्पा, 29 में अल्फा और 32 में अन्य वेरिएंट मिले हैं. डेल्टा वैरिएंट के मामले सबसे ज्यादा जमशेदपुर में 86, हजारीबाग में 39, धनबाद में 32, रांची में 26, व पलामू में 21 मामले मिले हैं.

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झारखंड के स्वास्थ्य विभाग के वरीय आईईसी प्रभारी सिद्धार्थ त्रिपाठी ने जानकारी दी है कि राज्य सरकार इस मामले को लेकर सजग है और इस दिशा में तेजी से कार्य किया जा रहा है. कोरोना जांच में और तेजी लायी जायेगी. मास टेस्टिंग ड्राइव चलाया जायेगा, ताकि अधिक से अधिक लोगों की कोरोना जांच की जा सके.

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Posted By : Guru Swarup Mishra

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