Mahashivratri: गाड़ियों के डैशबोर्ड पर क्यों लगाते हैं शिवजी की प्रतिमा?

Mahashivratri: देवाधिदेव महादेव योगियों के भी योगी हैं. योगक्रिया पूर्ण करने में ध्यान केंद्रित करना पड़ता है. गाड़ी चलाने में भी ध्यान केंद्रित करना पड़ता है.

By KumarVishwat Sen | March 7, 2024 5:55 PM
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Mahashivratri: भारत में देवाधिदेव महादेव के विवाहोत्सव के अवसर पर महाशिवरात्रि बड़े ही धूमधाम से मनाई जाती है. लोग गाड़ियों से शिव मंदिरों में पूजा करने जाते हैं और शाम को शिव बरात भी निकालते हैं. लेकिन, क्या यह जानते हैं कि गाड़ियों के डैशबोर्ड पर देवाधिदेव महादेव की प्रतिमा क्यों लगाई जाती है? यह भी एक अबूझ पहेली है. आइए, जानते हैं कि इसका कारण क्या है?

Mahashivratri: डैशबोर्ड पर भगवान शिव की प्रतिमा लगाने से मिलती है शांति और सुरक्षा

पंडित विष्णु मिश्र के अनुसार, देवाधिदेव महादेव कल्याणकारी और परोपकारी देवता हैं. इसलिए महाशिवरात्रि के दिन वाहन और चांदी खरीदना शुभ माना जाता है. इसके साथ ही, भगवान भोलेनाथ लोगों की रक्षा भी करते हैं. इसलिए गाड़ियों के डैशबोर्ड पर आप भगवान शिव की तस्वीर या फिर मूर्ति लगी हुई देखते हैं. पंडित विष्णु मिश्र का कहना है कि ऐसी मान्यता है कि भगवान शिव की मूर्ति अथवा तस्वीर को गाड़ियों के डैशबोर्ड पर लगाने शांति और सुरक्षा मिलती है. इसके साथ ही, नकारात्मकता का भी नाश होता है.

Mahashivratri: विघ्न-बाधा टलने के साथ सुरक्षित यात्रा होती है पूरी

पंडित विष्णु मिश्र आगे कहते हैं कि देवाधिदेव महादेव स्वयं ओंकार हैं. इसके साथ ही, कल्याणकारी और परोपकारी होने के नाते वे व्यक्ति के सभी प्रकार के विघ्नों को भी हरते हैं. भगवान शंकर के माथे पर विराजमान चंद्रमा शीतलता और शांति के प्रतीक हैं. इसलिए गाड़ियों के डैशबोर्ड पर भगवान शिव की मूर्ति लगाने से लोगों की यात्रा सुरक्षित पूरी हो जाती है और सड़क पर यात्रा के दौरान आने वाले विघ्न टल जाते हैं.

Mahashivratri: ड्राइविंग पर ध्यान रहता है केंद्रित

उनका यह भी कहना है कि देवाधिदेव महादेव योगियों के भी योगी हैं और योगक्रिया को पूर्ण करने में ध्यान को केंद्रित करना पड़ता है. गाड़ी चलाना में भी ड्राइवर को ध्यान केंद्रित करना पड़ता है. इसलिए डैशबोर्ड पर भगवान शिव की प्रतिमा या मूर्ति लगाने से चालक का ध्यान ड्राइविंग पर केंद्रित रहता है और वह यातायात नियमों का पालन करते हुए शांति के साथ गाड़ी चलाता है.

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Mahashivratri: हरे रंग से प्रसन्न होते हैं भोलेनाथ

इसके साथ ही, पंडित विष्णु मिश्र यह भी कहते हैं भगवान भोलेनाथ को हरा रंग बेहद पसंद है. इसलिए गाड़ी में हरे रंग की वस्तु रखने से भी भगवान शिव की कृपा मिलती है. इतना ही नहीं, देवाधिदेव महादेव को सफेद रंग का फूल पसंद है. इसलिए आप गाड़ी चलाने से पहले अगर सफेद फूल से भगवान भोलेनाथ की पूजा कर देते हैं, तो आपकी यात्रा मंगलमय और विघ्नरहित सुरक्षित पूरी हो जाती है.

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