The Work Survey : एक वैश्विक अध्ययन में यह बात सामने आई है कि भारत में 52 प्रतिशत कर्मचारी और 64 प्रतिशत प्रबंधन स्तर के अधिकारी घर से काम करने के नये तरीके को पसंद कर रहे हैं और उसे तरजीह दे रहे हैं. कोरोना वायरस महामारी के प्रसार पर अंकुश लगाने के लिए लागू लॉकडाउन के बाद अधिकतर कंपनियों ने अपने कर्मचारियों को घर से काम करने की सुविधा दी है. कर्मचारी इस नए माहौल में ढल रहे हैं और फिलहाल घर से काम को ही तरजीह दे रहे हैं.
कॉरपोरेट कर्मचारियों के बीच ‘द वर्क सर्वे’ को एक से 10 सितंबर के बीच क्लाउड आधारित कार्य करने वाली कंपनी सर्विस नाउ ने किया. इसे अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, आयरलैंड, नीदरलैंड, भारत, जापान, सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड की 500 से अधिक कंपनियों के 8,100 कार्यालय पेशेवरों के बीच किया गया. इसके अलावा इन कंपनियों के 900 के करीब शीर्ष कॉरपोरेट अधिकारी मसलन सीईओ, सीटीओ, सीएफओ (सी-सूट) इत्यादि ने भी इसमें हिस्सा लिया. भारत में इस सर्वेक्षण में विनिर्माण, स्वास्थ्य, वित्त सेवा, सार्वजनिक उपक्रम और दूरसंचार उद्योग के करीब 1,000 कर्मचारियों और 100 प्रबंधन स्तर के मुख्य कार्यकारियों ने भाग लिया.
सर्वेक्षण के मुताबिक भारत में लोगों ने इस डिजिटल बदलाव को स्वीकार किया है और अभी देश में इसे और बढ़ाने की संभावना भी है. सर्विस नाउ के प्रबंध निदेशक (भारत और दक्षेस) अरुण बाला सुब्रह्मण्यम ने कहा कि भारत के 74 प्रतिशत कार्यकारियों ने माना कि उनका ऑनलाइन काम भी जारी है. जबकि सर्वेक्षण में शामिल अन्य देशों में अमेरिका में यह 89 प्रतिशत, ब्रिटेन में 98 प्रतिशत और ऑस्ट्रेलिया में 98 प्रतिशत है. यह देश में डिजिटल कामकाज को बेहतर तरीके से स्वीकार करना दिखाता है. लेकिन साथ ही बताता है कि अभी इस क्षेत्र में बहुत कुछ करना बाकी है.