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Reliance, JSW समेत सात कंपनियों ने बैटरी प्लांट के लिए PLI योजना के तहत आवेदन किया

Reliance, JSW समेत सात कंपनियों ने बैटरी प्लांट के लिए PLI योजना के तहत आवेदन किया

By Abhishek Anand | April 23, 2024 5:57 PM

PLI Scheme For Battery: भारत सरकार की PLI योजना के तहत बैटरी बनाने के कारखानों को लगाने के लिए रिलायंस इंडस्ट्रीज और JSW Neo Energy सहित सात कंपनियों ने आवेदन किया है.

10 गीगावॉट क्षमता के संयंत्र लगाने के लिए आवेदन

सरकार ने मंगलवार को कहा कि उसे इन कंपनियों से 3,620 करोड़ रुपये के निवेश के साथ 10 गीगावॉट क्षमता के संयंत्र लगाने के लिए आवेदन मिले हैं.

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आवेदन करने वाली अन्य कंपनियों

आवेदन करने वाली अन्य कंपनियों में ACME Cleantech Solutions Pvt Ltd, Amara Raja Advanced Cell Technologies Pvt Ltd, Anvi Power Industries Pvt Ltd, Lucas TVS Ltd and Vaari Energies Ltd. शामिल हैं.

उद्योग जगत से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली

इस साल 24 जनवरी को भारी उद्योग मंत्रालय द्वारा जारी एक वैश्विक निविदा के जवाब में कुल 70 गीगावॉट क्षमता वाले प्लांट के लिए बोलियां प्राप्त हुई हैं. मंत्रालय ने कहा, “इस योजना को उद्योग जगत से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली क्योंकि प्राप्त बोलियां 10 गीगावॉट की विनिर्माण क्षमता से सात गुना अधिक थीं.”

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आवेदन प्राप्त करने की अंतिम तिथि 22 अप्रैल थी

मंत्रालय ने 10 गीगावॉट एडवांस केमिकल सेल (एसीसी) निर्माण के लिए PLI की फिर से बोली लगाने की घोषणा की थी. बोली से पहले की बैठक 12 फरवरी को हुई थी. आवेदन प्राप्त करने की अंतिम तिथि 22 अप्रैल थी और तकनीकी बोलियां मंगलवार को खोली गईं.

PLI योजना क्या है?

PLI (Production-Linked Incentive) योजना एक सरकारी पहल है, जिसका उद्देश्य देश में विनिर्माण को बढ़ावा देना और स्थानीय उत्पादन को बढ़ाना है, विशेष रूप से बैटरी निर्माण जैसे क्षेत्रों में।

किन कंपनियों ने इस योजना के तहत आवेदन किया है?

आवेदन करने वाली कंपनियों में रिलायंस इंडस्ट्रीज, JSW Neo Energy, ACME Cleantech Solutions, Amara Raja Advanced Cell Technologies, Anvi Power Industries, Lucas TVS, और Vaari Energies शामिल हैं।

इन कंपनियों ने कितनी क्षमता के संयंत्र लगाने के लिए आवेदन किया है?

इन कंपनियों ने 10 गीगावॉट क्षमता के संयंत्र लगाने के लिए आवेदन किया है।

इस योजना के लिए कुल निवेश कितने का होगा?

इन कंपनियों से कुल 3,620 करोड़ रुपये के निवेश के साथ आवेदन मिले हैं।

इस योजना का उद्देश्य क्या है?

इस योजना का उद्देश्य भारत में बैटरी निर्माण के लिए स्थानीय क्षमता को बढ़ाना और इलेक्ट्रिक वाहनों की मांग को पूरा करना है, जिससे देश की ऊर्जा आत्मनिर्भरता में वृद्धि हो सके।

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