Bareilly Urs E Razvi: इमाम अहमद रजा खां (आला हजरत) के 103 वें उर्स पर जायरीन और पुलिस के बीच हुए वबाल के मामले में दरगाह के प्रमुख लोगों ने पुलिस को अल्टीमेटम दिया है. दरगाह प्रमुख ने पुलिस-प्रशासन के अफसरों से बात करके शुक्रवार (जुमे) तक गिरफ्तार जायरीन को रिहा करने और केस वापसी की मांग की है. मांग पूरी ना होने पर आगे की रणनीति बनाने का ऐलान किया.
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दरअसल, दरगाह आला हजरत के प्रमुख मौलाना सुब्हानी मियां ने कहा है कि कुल शरीफ वाले दिन पुलिस ने जायरीन पर ज्यादती की है. यह बर्दाश्त के काबिल नहीं है. जगह-जगह बैरियर लगाकर जायरीन को रोकना और मेहमानों पर लाठियां बरसाना गलत है. दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए. इस्लामियां मैदान खाली पड़ा था. लेकिन, रणनीति के तहत शहामतगंज में जायरीन को रोका गया. दरगाह प्रमुख ने पुलिस इंस्पेक्टर बारादरी के साथ चौकी इंचार्ज शाहामतगंज पर कई आरोप भी लगाए हैं.
दरगाह के जिम्मेदार लोगों की चेतावनी के बाद मुंबई की रजा एकेडमी के अध्यक्ष सईद नूरी ने भी पुलिस की कार्रवाई पर नाराजगी जाहिर की है. उलमाओं ने जेल भरने की बात कही है. जबकि, तहरीक-ए-फरोग इस्लामी के महासचिव मुफ़्ती आमिर आरफीन रजवी ने कहा है कि दरगाह के प्रमुख मामले को हल कर रहे हैं. उनकी मांगे नहीं मानी गई तो दरगाह का जो ऐलान होगा, उस पर देश भर में संगठन अमल करेगा.
सज्जादानशीन मौलान अहसन मियां के निर्देश पर टीटीएस का एक शिष्टमंडल मौलाना दानिश के घर पहुंचा. इस दौरान घर वालों को समझाया गया. इसके साथ ही दरगाह प्रमुख से उनकी बात कराई गई. दरगाह प्रमुख ने मदद का भरोसा दिया. साथ ही किसी भी जायरीन के साथ नाइंसाफी नहीं होने देने की बात कही. शिष्टमंडल में नासिर क़ुरैशी, परवेज नूरी, शाहिद खां नूरी, हाजी जावेद खान, ताहिर अल्वी मौजूद थे.