26.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बिहार: पांच साल में पहली बार जुलाई में सबसे कम बारिश, किसानों को नहीं होगा नुकसान, इस खेती से जबरदस्त मुनाफा

Bihar News: बिहार में इस साल अभी तक सामान्य से कम बारिश हुई है. पिछले पांच सालों में पहली बार ऐसा हुआ है कि मानसून के शुरूआती दौर में सामान्य से कम बारिश हुई है. वहीं, फिलहाल अच्छी बारिश के आसार नहीं है. मानसून की रफ्तार धीमी है. लेकिन, कई फसलों के कारण किसानों को नुकसान नहीं होगा.

Bihar News: बिहार में इस साल अभी तक सामान्य से कम बारिश हुई है. पिछले पांच सालों में पहली बार ऐसा हुआ है कि मानसून के शुरूआती दौर में सामान्य से कम बारिश हुई है. वहीं, फिलहाल अच्छी बारिश के आसार नहीं है. मालूम हो कि देशभर में मानसून की अवधि जून से सिंतबर तक की होती है. एक जून से 30 सिंतबर कर की बारिश मानसून की होती है. जून के महीने में राज्य में 48 प्रतिशत तक कम बारिश हुई है. जुलाई के महीने में 156.3 मिमी बारिश हुई है. वहीं, 268 मिमी बारिश होनी चाहिए थी. अभी बारिश के आसार नहीं है. मानसून की रफ्तार धीमी हो गई है. कई फसलों के कारण किसानों को कम बारिश से नुकसान नहीं होगा. किसान इन फसलों को लगाकर मोटा मुनाफा कमा सकते हैं.

मुफ्त में उपलब्ध होंगे बीज

किसानों ने कम बारिश के कारण धान के विकल्पों को भी खोजना शुरू कर दिया है. किसान वैकल्पिक फसलों की योजना बना रहे हैं. इसमें 15 फसलें शामिल है. क्षेत्र के सूखा प्रभावित होने के बाद इन फसलों के बीज किसानों को मुफ्त में उपलब्ध कराएं जाएंगे. बिहार बीज निगम लिमिटेड की ओर से किसानों को मुफ्त में बीज उपलब्ध कराया जाएगा. सुखाड़ प्रभावित पंचायतों के किसानों को बीज उपलब्ध कराने की बात कही गई है. मुफ्त में बीज वितरण में छोटे किसान और महिलाओं को प्राथमिकता दी जाएगी. कृषि विभाग इसकी तैयारी में जुटा है.

Also Read: Explainer: मौसमी बीमारियों के मरीजों में बढ़ोतरी, बेगूसराय में डायरिया से बच्चे की मौत, जानें बचाव के उपाय
कम पानी वाले फसलों की करें खेती

ज्वार, बाजरा, तोरिया, मक्का, उड़द व कुल्थी आदि अच्छा विकल्प है. वहीं, किसानों को ऐसे वक्त में कम पानी लगने वाले फसल की खेती करनी चाहिए. गर्मी और बरसात दोनों में ही उरद की खेती की जाती है. यह दाल की फसल है और इसमें कम पानी की आवश्यकता होती है. वहीं, अरहर की बुआई जुलाई महीने में बरसात की शुरुआत में की जाती है. इस ऐसी दाल वाली फसल होती है, जिसमें सिंचाई की जरुरत नहीं के बराबर ही होती है. बुआई से लेकर कटाई तक में इसमें आठ से नौ महीने तक का समय लगता है. ज्वार और बाजरा की खेती बरसात में होती है और लगभग चार महीने में यह पककर तैयार हो जाती है. इसमें अलग से सिंचाई की जरुरत नहीं होती है. मुंग गर्मी वाली दाल की फसल है. इसे गर्मियों में बोया जाता है और इसमें बहुत ही कम सिंचाई होती है.

Also Read: बिहार में पीएम आवास योजना के लाभार्थियों पर कार्रवाई, जानें क्यों 361 लाभुकों पर दर्ज हुई FIR?
थोड़ी बहुत बारिश का फायदा किसानों को नहीं

मक्का की खेती वर्षा के मौसम में होती है. कुछ राज्यों में अब गर्मी में भी इसकी खेती की जा रही है. तिल में भी बहुत कम पानी की जरुरत होती है. मालूम हो कि राज्य में सावन के महीने में लोगों को गर्मी सता रही है. वहीं, कुछ दिनों पहले ठनके ने लोगों की परेशानी बढ़ाई. कई लोगों की ठनका गिरने से मौत की खबर सामने आई थी. इसके बाद इसके बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मुआवजे का एलान किया. साथ ही लोगों से ठनका को लेकर सावधानी बरतने की अपील की. बिहार में बाढ़ की दहशत के बीच सूखे की खबर कई लोगों को हैरान कर रही है. राज्य में कम बारिश का होना सूखे के डर का कारण है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी इसको लेकर समीक्षा की और सूखे की स्थिति का जायजा लिया. सूखे के आसार जताए जा रहे है. इस महीने भी अधिक बारिश की उम्मीद नहीं जताई गई है.

Also Read: बिहार के सरकारी स्कूलों के खाते में 1400 करोड़, लेकिन विकास पर खर्च नहीं, केके पाठक ने डीएम को लिखा पत्र

बता दें कि राज्य में थोड़ी बहुत बारिश हुई है. लेकिन, इसका फायदा किसानों को नहीं पहुंचा है. जानकारी के अनुसार नौ जिलो में दस फीसदी भी रोपनी नहीं हो पाई है. क्योंकि, जून और जुलाई के महीने में कम बारिश हुई है. राज्य में 26 जिलों में 59 प्रतिशत तक बारिश की कमी है. वहीं, जुन और जुलाई में 41 प्रतिशत तक कम वर्षा हुई है. सरकार ने किसानों को डीजल अनुदान देने का भी फैसला लिया है. साथ ही 12 घंटे कर बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने का आदेश दिया गया है. किसान कृषि विभाग की आधिकारीक वेबसाइट https://dbtagriculture.bihar.gov.in/ पर आवेदन कर अनुदान का लाभ उठा सकते है. इसके अलावा कम पानी की जरुरत वाले फसल उगाकर भी मोटा मुनाफा कमा सकते हैं.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें