ललपनिया (बोकारो) : टीटीपीएस से उत्सर्जित ऐश का डिस्पोजल एक सप्ताह के अंदर नहीं किया गया तो कभी भी परियोजना में विद्युत उत्पादन ठप हो सकता है. ऐश से डैम में बढ़ते दबाव से डैम को भी नुकसान का सामना करना पड़ सकता है. जानकारी के अनुसार साल 2020 फरवरी माह से पॉन्ड से ऐश की निकासी के लिए ट्रांसपोर्टिंग का कार्य बंद है, जिससे ऐश पॉन्ड से ऐश की निकासी नहीं हो रही है.
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इस वजह से ऐश पॉन्ड में ऐश दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है. प्रतिदिन दोनों यूनिट से उत्सर्जित ऐश लगभग दो हजार एमटी के आसपास डैम में चार माह से जमा हो रहा है. ऐश डिस्पोजल पाइप भी सतह से 6 इंच ही उपर दिखाई दे रही है, जबकि जमीन की सतह से लगभग एक मीटर उपर रहनी चाहिए. विभाग के द्वारा इस दिशा में त्वरित कार्रवाई नहीं की गयी तो ऐश पॉन्ड भर जायेगा और दोनों यूनिट से उत्सर्जित ऐश निकासी बंद होने से दोनों यूनिट से विद्युत उत्पादन ठप हो जायेगा.
ज्ञात हो टीटीपीएस में दो यूनिट संचालित है, जिसके दोनों यूनिट से 300 से 310 मेगावाट विद्युत उत्पादन हो रहा है. सबसे बड़ी बात है कि परियोजना में विद्युत उत्पादन ठप होने से झारखंड पर बिजली का संकट गहरा सकता है. इस संबंध में परियोजना के सिविल विभाग के अधिकारियों के द्वारा ऐश पॉन्ड की स्थिति व ऐश डिस्पोजल नहीं होने से परियोजना में उत्पन्न हालात से परियोजना के जीएम को अवगत कराया गया है.
टीवीएनएल के प्रबंध निदेशक से आग्रह किया गया कि परियोजना हित के लिए त्वरित समस्याओं का समाधान किया जाए, नहीं तो काफी नुकसान उठाना पड़ सकता है. ऐश पॉन्ड से ऐश की निकासी नहीं होने पर ग्रामीण ने कहा कि ऐश पॉन्ड के टूटने से ऐश सीधा दामोदर नदी में चला जायेगा और जल प्रदूषण का सामना करना पड़ेगा. इस संबंध में टीटीपीएस के जीएम अनिल कुमार शर्मा ने कहा दो दिनों पूर्व ही जीएम के पद पर योगदान दिया हूं, इस तरह की बात है तो एमडी से बात कर समस्याओं का समाधान करने की बात करूंगा.
Posted By : Amlesh Nandan Sinha.