Budget 2021 : वित्तीय वर्ष 2021-22 (financial year 2021-22) का केंद्रीय बजट (Union Budget) एक फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharanam) पेश करेंगी. इस बजट से कई सेक्टर को कई अपेक्षाएं हैं. ब्रोकरेज फर्म बैंक ऑफ अमेरिका सिक्योरिटीज इंडिया की एक रिपोर्ट के मुताबिक एक फरवरी को पेश होने वाले आम बजट में राजकोषीय घाटे की चिंताओं की बजाय वृद्धि तथा संरचनात्मक सुधारों पर अधिक जोर होने की संभावना है.
ब्रोकरेज फर्म को उम्मीद है कि बजट में राजकोषीय घाटे का लक्ष्य वित्त वर्ष 2021-22 के लिए जीडीपी का पांच प्रतिशत और वित्त वर्ष 2020-21 के लिए जीडीपी का 7.2 प्रतिशत हो सकता है. रिपोर्ट के मुताबिक बजट में पूंजीगत व्यय को बढ़ाने, सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में पूंजी डालने, सरकारी एकाधिकार को तोड़ने के लिए सरकारी परिसंपत्तियों की बिक्री को तेज करने, रियल एस्टेट को राहत दिए जाने, निम्न आय वर्ग के लिए कर राहत देने पर जोर हो सकता है.
इसके अलावा विभिन्न बैंकों के फंसे हुए कर्ज को एक जगह मिलाकर एक ‘बैड बैंक’ बनाने की घोषणा की जा सकती है. बैंक ऑफ अमेरिका सिक्योरिटीज इंडिया के अर्थशास्त्रियों को उम्मीद है कि इन खर्चों की भरपाई कर्ज लेकर और कुछ हद तक उच्च आय वर्गों पर उपकर लगाकर तथा कुछ गैर-राजकोषीय उपायों के जरिए की जा सकती है.
रिपोर्ट में कहा गया, उपभोग को बढ़ावा देने के लिए निम्न आय वर्ग के लिए कर में कटौती, रियल एस्टेट की मांग बढ़ाने के लिए प्रोत्साहन, करीब 20,000 करोड़ रुपये के पुनर्पूंजीकरण बांड जैसे गैर-राजकोषीय उपायों की मदद से सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों का पूनर्पूंजीकरण, एमएसएमई ऋण गारंटी योजना का विस्तार और सरकारी एकाधिकार को खत्म करने के लिए संरचनात्मक सुधार हो सकते हैं.
Posted By : Rajneesh Anand