Economic survey 2021: कोरोना ने बढ़ाई हेल्थ सेक्टर की अहमियत, बजट में लोगों के इलाज का खर्च कम करने पर सरकार का ध्यान
Economic survey 2021: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitaraman) ने शुक्रवार को आर्थिक सर्वेक्षण 2020-21 लोकसभा में पेश किया. आर्थिक सर्वे में हेल्थकेयर पर खर्च जीडीपी के एक प्रतिशत से बढ़ाकर 2.5 से तीन प्रतिशत तक करने की बात कही गयी है.
Economic survey 2021: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitaraman) ने शुक्रवार को आर्थिक सर्वेक्षण 2020-21 लोकसभा में पेश किया. इसमें कोरोना वायरस महामारी से प्रभावित अर्थव्यवस्था में चालू वित्त वर्ष में 7.7 प्रतिशत की गिरावट का अनुमान जताया गया है. आर्थिक सर्वे में हेल्थकेयर पर खर्च जीडीपी के एक प्रतिशत से बढ़ाकर 2.5 से तीन प्रतिशत तक करने की बात कही गयी है. इससे लोगों पर इलाज के खर्च का बोझ कम होगा. इससे आउट ऑफ पॉकेट एक्सपेंडिचर को 65 प्रतिशत से घटाकर 30 प्रतिशत तक लाया जा सकता है.
सर्वे के अनुसार हेल्थकेयर बजट के मामले में भारत की 189 देशों में 179वीं रैंक है. अभी अमीर राज्य भी अपने जीएसडीपी का बहुत कम हिस्सा हेल्थकेयर पर खर्च कर रहे हैं.सर्वे के अनुसार हेल्थकेयर के मामले में भारत निम्न आय वर्ग या निम्न मध्यम आयवर्ग देशों की तुलना में अंडरपरफार्मर रहा है. भारत में स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच भी सभी तक नहीं हो पाती है जिस पर विचार करने की जरूरत है. हॉस्पिटलाइजेशन रेट अभी तीन से चार प्रतिशत है जो दुनिया के तमाम देशों से बहुत कम है.
ठीक हो हेल्थ सेक्टर का बुनियादी ढांचा
सर्वे में कहा गया है कि हेल्थकेयर सेक्टर में रेगुलेशन और सुपरविजन के लिए एक सेक्टोरल रेगुलेटर की जरूरत है. कोरोना वायरस महामारी को देखते हुए भविष्य में स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचे को दुरुस्त करने की जरूरत है. इंटरनेट कनेक्टिविटी और स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचे में निवेश करके टेलीमेडिसिन को दूरदराज के इलाकों तक पहुंचाने की जरूरत है. वहीं राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन पर जोर जारी रहना चाहिए.
इनोवेशन बढ़ाने की जरूरत
आर्थिक समीक्षा में उच्च आर्थिक वृद्धि दर और देश को तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के लिए अन्य उपायों के अलावा विशेषकर निजी क्षेत्र में इनोवेशन को बढ़ाने पर विशेष ध्यान देने पर जोर दिया गया है. वित्त मंत्री ने संसद में 2020-21 की आर्थिक समीक्षा पेश करते हुए कहा, वर्ष 2007 में वैश्विक इनोवेशन इंडेक्स के अस्तित्व में आने के बाद 2020 में पहली बार भारत 50 शीर्ष इनोवेटिव देशों में शामिल हुआ. वर्ष 2020 में भारत 48 पायदान पर आ गया, जो 2015 में 81 पर था. उन्होंने कहा, भारत मध्य और दक्षिण एशिया में पहले स्थान पर और निम्न मध्यम आय वर्ग की अर्थव्यवस्थाओं में तीसरे स्थान पर रहा.