Loading election data...

दो अगस्त को रिजर्व बैंक पेश करेगा मौद्रिक समीक्षा नीति, ब्याज दर में कटौती का बन रहा दबाव

नयी दिल्लीः अगस्त महीने की दो तारीख को भारतीय रिजर्व बैंक की आेर से द्विमासिक मौद्रिक समीक्षा नीति पेश किया जायेगा. इसके पहले ही रिजर्व बैंक पर नीतिगत ब्याज दरों में कटौती करने चौतरफा दबाव बनना शुरू हो गया है. कहा यह जा रहा है कि रिजर्व बैंक की आेर से दो अगस्त को होने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 28, 2017 1:21 PM

नयी दिल्लीः अगस्त महीने की दो तारीख को भारतीय रिजर्व बैंक की आेर से द्विमासिक मौद्रिक समीक्षा नीति पेश किया जायेगा. इसके पहले ही रिजर्व बैंक पर नीतिगत ब्याज दरों में कटौती करने चौतरफा दबाव बनना शुरू हो गया है. कहा यह जा रहा है कि रिजर्व बैंक की आेर से दो अगस्त को होने वाली मौद्रिक नीति समीक्षा में रेपो रेट को 0.25 फीसदी घटाने की उम्मीद है.

इस खबर को भी पढ़ेंः भारतीय रिजर्व बैंक मौद्रिक समीक्षा की 10 मुख्य बातें

वैश्विक आधार पर वित्तीय सेवाएं देने वाली एचएसबीसी की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि इसके पीछे अहम कारण मुद्रास्फीति का 4 फीसदी के नये सामान्य स्तर पर आना है. रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में मुद्रास्फीति में नाटकीय रूप से कमी आयी है. चालू वित्त वर्ष में महंगाई का यह निम्नतम स्तर न तो सतत रह सकता है और न ही इसके फिर से तेजी से बढ़ने की उम्मीद है. इसलिए नीतिगत दरों में कटौती संभव है, क्योंकि देश की मुद्रास्फीति विश्व के साथ अंतर सामान्य है. मुद्रास्फीति के नरम बने रहने की उम्मीद है और साथ ही खाद्यान्न की कीमतें भी घट रही हैं.

एचएसबीसी ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि हमें उम्मीद है कि दो अगस्त को समीक्षा बैठक में ब्याज दरों में 0.25 फीसदी तक की कटौती करेगा और केंद्रीय बैंक अपनी तटस्थ स्थिति को बनाये रखेगा, जो हमें लगता है कि दरों में कटौती के साथ सामंजस्य बिठाती है.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Next Article

Exit mobile version