नयी दिल्ली : देश भर में बैंकों में नौकरी पाने की चाहत रखने वाली युवाओं के लिए एक निराशनजनक खबर हैं. बैंकिग में तेजी से हो रहे नयी तकनीक के प्रयोग के चलते आने वाले पांच सालों में 30 फीसदी नौकरियां खत्म हो जायेगी. सिटीबैंक के पूर्व सीईओ विक्रम पंडित के अनुसार अगले 5 सालों में 30% बैंकिंग जॉब्स खत्म हो जाएंगी. पंडित ने इसका कारण आधुनिकीकरण को बताया है.
विक्रम पंडित ने एक चैनल को दिये गये इंटरव्यू में कहा कि जिस तेजी से दुनिया भर कै बैंकों में आर्टिफीशयल और रोबोटिक्स का इस्तेमाल हो रहा है. उस हिसाब से नौकरियां जल्द ही खत्म हो जायेगी. विक्रम पंडित ने अलर्ट जारी करते हुए कहा कि लोग बैंक जाने के बजाए इंटरनेट बैंकिंग और मोबाइल बैंकिंग सेवाओं का ज्यादा इस्तेमाल करते हैं.
वैसे इस बात की आशंका काफी पहले से जतायी जा रही है. इंटरनेट बैंकिग व मोबाइल बैंकिंग की सेवाओं शुरू होने के बाद नौकरियों में छंटनी की बात की जा रही है. इससे पहले बीसीजी ग्रुप के डायरेक्टर सौरभ त्रिपाठी ने कहा था कि अगले तीन वर्षों में निचले स्तर के कर्मचारियों (जैसे डेटा एंट्री) की जरूरत नहीं रह जाएगी. पास बुक पर एंट्री करने के लिए भी अब बैंक जाना जरूरी नहीं रह गया है. पैसे जमा करने के लिए भी मशीन लग गई हैं, इससे मैनपॉवर में बहुत कमी आई है.
भीम ऐम ने कर दिया काम आसान
सरकार द्वारा जारी भीम एप की वजह से ग्राहकों का काम आसान हो गया है. यूनाइटेड पेमेंट इंटरफेस के जरिये मिनटों में पैसे ट्रांसफर हो जाते हैं. वहीं गूगल भी जल्द एक पेमेंट ऐप लांच करने जा रही है. इस ऐप का नाम ‘तेज’ रखा गया है. पीएम मोदी के नोटबंदी के बाद और डिजिटल इकॉनमी को बढ़ावा देने के बाद एक के बाद एक कई पेमेंट बैंक और डिजिटल पेमेंट सर्विसेस उभर कर आ रही हैं. ऐसे में गूगल अब भारत में पेमेंट सर्विस लॉन्च करने की तैयारी में है. गौरतलब है कि गूगल अपनी पेमेंट सर्विस अमेरिका में चलाती है. यह गूगल वॉलेट और एंड्रॉयड पे सर्विस से अलग होगा. यह यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) को भी सपोर्ट करेगा, ऐसा कहा जा रहा है कि 18 सितंबर को इसकी घोषणा होगी.
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