नयी दिल्ली : चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में फंसे हुए कर्ज में गिरावट के कारण बैंक ऑफ इंडिया (बीओआई) का शुद्ध लाभ 41.1 प्रतिशत बढ़कर 179.07 करोड़ रुपये हो गया. पिछले साल जुलाई-सिंतबर तिमाही में बैंक का शुद्ध लाभ 126.84 करोड़ रुपये था. बीओआई ने शेयर बाजार को दी जानकारी में कहा कि दूसरी तिमाही में उसकी कुल आय पिछले साल 11,469.11 करोड़ रुपये से बढ़कर इस साल 11,600.47 करोड रुपये हो गयी.
इस वित्त वर्ष की जुलाई-सितंबर तिमाही में बैंक की सकल गैर निष्पादित आस्तियां (सकल एनपीए) मामूली रुप से गिरकर कुल ऋण का 12.62 प्रतिशत रहा, पिछले साल इसी तिमाही में सकल एनपीए कुल ऋण 13.45 प्रतिशत रहा था. समीक्षाधीन अवधि में शुद्ध एनपीए सुधरकर कुल ऋण का 6.47 प्रतिशत हो गया , पिछले साल यह 7.56 प्रतिशत था.
मूल्य के आधार पर, सकल एनपीए 49,306.90 करोड़ पर रहा, इससे पिछले साल यह आंकडा 52,261.95 करोड़ रुपये रहा था. एनपीए में आई कमी के कारण, समीक्षाधीन अवधि के दौरान फंसे कर्ज के लिए प्रावधान गिरकर 1,866.52 करोड रुपये रहा, इसके मुकाबले पिछले वित्त वर्ष में यह 2,189.65 करोड़ रुपये रहा था.
इलाहाबाद बैंक का दूसरी तिमाही शुद्ध लाभ 8 प्रतिशत बढ़कर 70 करोड रुपये हुआ
सार्वजनिक क्षेत्र के इलाहाबाद बैंक का शुद्ध लाभ सितंबर में समाप्त दूसरी तिमाही में उसकी गैर-निष्पादित राशि बढने के बावजूद 7.9 प्रतिशत बढकर 70.20 करोड रुपये हो गया. कोलकाता मुख्यालय वाले इस बैंक ने पिछले साल इसी तिमाही में 65.03 करोड़ रुपये का शुद्ध मुनाफा हासिल किया था. चालू वित्त वर्ष में जुलाई से सितंबर अवधि में बैंक की कुल आय 5,067.78 करोड रुपये रही जो कि करीब करीब पिछले साल इसी अवधि की उसकी आय के आसपास ही है. पिछले साल इस दौरान बैंक की कुल आय 5,051.61 करोड़ रुपये थी.
बैंक की प्रबंध निदेशक और सीईओ उषा अनंतसुब्रमणियम ने कहा कि इस दौरान बैंक ने अधिक प्रावधान किया. तिमाही के दौरान कुल प्रावधान का अनुपात बढकर 54.33 प्रतिशत हो गया. एक साल पहले इसी दौरान यह 47.60 प्रतिशत था. आलोच्य तिमाही के दौरान बैंक का सकल एनपीए बढकर 14.10 प्रतिशत तक पहुंच गया जो कि एक साल पहले इसी तिमाही में 12.28 प्रतिशत पर था. इसी प्रकार शुद्ध एनपीए एक साल पहले के 8.59 प्रतिशत से बढकर 8.84 प्रतिशत हो गया. एनपीए बढने की वजह से इसके एवज में प्रावधान बढकर पिछले साल के मुकाबले दोगुना होकर 1,469.52 करोड़ रुपये हो गया.
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