बीजिंग : अमेरिका के साथ अपने रिश्तों में बढ़ती खटास के बीच चीन ने शुक्रवार को ब्रिक्स (ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका) देशों के साथ अपना सहयोग बढ़ाने का इरादा जाहिर किया. गंभीर रूप ले रहे व्यापार युद्ध (ट्रेड वार) में अपनी मदद के लिए (ढाल तैयार करने के लिए) चीन अपने सहयोगी देशों के साथ संबंध बेहतर बनाने की पूरी कोशिश कर रहा है.
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सहायक विदेश मंत्री झांग जुन ने कहा कि कुछ विकसित देशों की बदलती नीतियों से पैदा हुई चुनौतियों के जवाब में चीन ब्रिक्स के साथी देशों के साथ वृहत आर्थिक नीतियों पर समन्वय बढ़ायेगा. जुन ने अमेरिका और चीन को व्यापार युद्ध में झोंकने के अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले की तरफ इशारा करते हुए यह टिप्पणी की. ट्रंप ने चीन से अमेरिका में आयात की जाने वाली अरबों डॉलर की वस्तुओं पर शुल्क में भारी बढ़ोतरी कर इस स्थिति को जन्म दिया है.
सहायक विदेश मंत्री ने कहा कि अमेरिका अंतरराष्ट्रीय कानूनों का कोई सम्मान नहीं करता, जबकि वैश्विक बाजार को लेकर सारे ब्रिक्स देशों का रुख साफ और एकसमान है. जुन ने अपनी इस टिप्पणी में चीन के इस रुख को एक तरह से दोहराया कि चीन मुक्त व्यापार का अगुआ है. हालांकि, अमेरिका और कई अन्य देश चीन पर संरक्षणवादी व्यापार नीति अपनाने का आरोप लगाते हैं.
चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग 25 से 27 जुलाई तक दक्षिण अफ्रीका के जोहानिसबर्ग में ब्रिक्स के 10 वें शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे. इस बीच, ट्रंप ने अमेरिका के प्रमुख सहयोगियों में शामिल कनाडा से भी झगड़ा मोल ले लिया है, जिससे वैश्विक व्यापार युद्ध के और गंभीर रूप लेने की आशंका पैदा हो गयी है.
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