नयी दिल्ली : जम्मू-कश्मीर सरकार ने अपनी पहली व्यापार एवं निर्यात नीति को मूंजरी दे दी है. नीति का उद्देश्य राज्य की अर्थव्यवस्था को निर्यात आधारित प्रतिस्पर्धी इकाई बनाना है. सरकार के आधिकारिक प्रवक्ता ने यह जानकारी दी. सरकार की ओर से इस नीति को मंजूरी देने के पीछे सबसे अहम वजह यहां के घरेलू व्यापार को अगले एक दशक में पांच गुना तक वृद्धि करना है.
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प्रवक्ता ने कहा कि राज्यपाल एनएन वोहरा की अध्यक्षता में बुधवार की शाम श्रीनगर में राज्य प्रशासनिक परिषद (एसएसी) की बैठक हुई, जिसमें जम्मू-कश्मीर व्यापार एवं निर्यात नीति 2018 से 28 को मंजूरी दी गयी. उन्होंने कहा कि नयी नीति जम्मू-कश्मीर को कृषि अर्थव्यवस्था से बाजार-संचालित अर्थव्यवस्था की ओर ले जायेगी.
प्रवक्ता ने कहा कि इसका उद्देश्य राज्य की अर्थव्यवस्था को आपूर्ति केंद्रित से निर्यात केंद्रित इकाई के रूप में बदलना है, जो कि राष्ट्रीय और वैश्विक अर्थव्यवस्था में व्यापक भागीदारी निभा सके. प्रवक्ता ने कहा कि नीति का उद्देश्य घरेलू व्यापार में अगले 10 वर्षों में पांच गुना वृद्धि करना है. उन्होंने कहा कि यह नीति 10 वर्ष तक या फिर नयी व्यापार एवं निर्यात नीति के घोषित होने तक वैध रहेगी.
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