कोलकाता : भारत के बाजारों में बरसों से अपना पैर जमाये ब्रिटानिया इंडस्ट्रीज अपने डेयरी प्रोजेक्ट को महाराष्ट्र से हटाकर दूसरी जगह ले जा सकती है. कंपनी के अनुसार, राज्य सरकार ने राजकोषीय प्रोत्साहन देने में देरी की, तो ब्रिटानिया इंडस्ट्रीज लिमिटेड अपनी प्रस्तावित डेयरी परियोजना को महाराष्ट्र से हटाकर दूसरी जगह ले जा सकती है. कंपनी के चेयरमैन नुस्ली वाडिया ने सोमवार को यह बात कही. कंपनी की परियोजना के लिए 300 करोड़ रुपये का पूंजीगत व्यय करने की योजना है.
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कंपनी की सालाना आम बैठक में चेयरमैन नुस्ली वाडिया ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार से वित्तीय प्रोत्साहन प्राप्त करने के लिण् हमने एक साल तक इंतजार किया है. यह बहुत लंबा समय है. इस संबंध में हमारी आंध्र प्रदेश से बातचीत चल रही है. जल्द ही इस संबंध में फैसला किया जायेगा.
वाडिया ने कहा कि कंपनी का शेयर विभाजन का प्रस्ताव है. दो रुपये मूल्य के शेयर को एक-एक रुपये के दो शेयरों में बांटा जायेगा. इसके लिए जरूरी मंजूरी ली जायेगी. इसके साथ ही, प्रत्येक 60 रुपये के गैर-परिवर्तनीय बोनस डिबेंचर जारी किये जायेंगे, जिसपर आठ फीसदी की ब्याज दर होगी. डिबेंचर को सूचीबद्ध किया जायेगा. इसके लिए 720 करोड़ रुपये की लागत आयेगी.
वाडिया ने कहा कि निदेशक मंडल की अगली बैठक में शेयर विभाजन के मुद्दे पर फैसला लिया जायेगा. आगामी वर्ष में ब्रिटानिया 400-500 करोड़ रुपये का पूंजीगत व्यय करेगी और डेयरी, केक और रस्क कारोबार पर ध्यान केंद्रित करेगी.
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