नयी दिल्ली : केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) ने बैंकों और अन्य संगठनों में भ्रष्टाचार निवारण व्यवस्था के तहत तैनात सतर्कता अधिकारियों से भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर उर्जित पटेल के व्याख्यान में जरूर शामिल होने को कहा है. पटेल का व्याखान गुरुवार को आयोजित किया जा रहा है. हल के समय में हुए रिजर्व बैंक गवर्नर के व्याख्यानों में सतर्कता अधिकारियों की उपस्थिति कम रही है, जबकि मुख्य सर्तकता अधिकारियों और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को उनमें शामिल होने के निर्देश जारी किये जाते रहे थे.
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इसको देखते हुए सीवीसी ने यह निर्देश दिया है. यह व्याख्यान सीवीसी की मासिक व्याखान शृंखला के तहत आयोजित किये जा रहे हैं. केवी चौधरी के जून, 2015 में केंद्रीय सतर्कता आयुक्त का पद संभालने के बाद से इसका आयोजन किया जा रहा है. सोमवार को जारी सर्कुलर में सीवीसी ने कहा कि आयोग की मुख्य सतर्कता अधिकारियों (सीवीओ) तथा अन्य अन्य वरिष्ठ सतर्कता अधिकारियों को इस व्याख्यान में शामिल होने की सलाह के बाद दिल्ली-एनसीआर के काफी सीमित संख्या में सीवीओ इसमें भाग ले रहे हैं.
इसमें कहा गया है कि आयोग का मानना है कि यह एक तरह के ज्ञान में सुधार के प्रयासों के बेकार जाने जैसा है. सीवीसी ने सर्तकता प्रशासन के चेयरमैन सह प्रबंध निदेशकों, निदेशक मंडल के सदस्यों और अन्य अधिकारियों से इस व्याख्यान में शामिल होने को कहा है. सीवीसी कार्यालय में नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ कांत, सेबी के पूर्व चेयरमैन एम दामोदरन, भारत विशिष्ट पहचान प्राधिकरण के प्रमुख अजय भूषण पांडे, न्यायमूर्ति प्रमोद कोहली, न्यायमूर्ति बीएस चौहान और न्यायमूर्ति जीएस सिंघवी, कैबिनेट सचिव पीके सिन्हा और बैंक बोर्ड ब्यूरो के पूर्व चेयरमैन विनोद राय भी व्याख्यान दे चुके हैं.
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