नयी दिल्ली : नीति आयोग के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) अमिताभ कांत ने कहा है कि सरकार जल्द ही संसद में निजी जानकारी की सुरक्षा (डेटा संरक्षण) से जुड़ा विधेयक पेश करेगी. उन्होंने जोर दिया कि देश में स्टार्टअप कंपनियों की वृद्धि और नवोन्मेष के लिए डेटा बहुत जरूरी है.
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कांत ने युवा तुर्क सम्मेलन में कहा कि यह अहम है कि सरकार निजता कानून ला रही है. सरकार इस पर काम कर रही है. काम उन्नत चरण में है. विधेयक को इस सत्र में या फिर अगले सत्र में लाया जाये, लेकिन यह सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता में है. वह इसके लिए श्रीकृष्ण समिति की रिपोर्ट पर इंतजार कर रही थी.
संसद का शीतकालीन सत्र नवंबर-दिसंबर में होना है, जबकि बजट सत्र जनवरी के अंतिम सप्ताह में शुरू होगा. सार्वजनिक क्षेत्र में डेटा की महत्ता का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि नवोन्मेष के लिए स्टार्टअप को पर्याप्त डेटा उपलब्धता की जरूरत है. कांत ने कहा कि डेटा पर विश्लेषण करने के लिए विश्वविद्यालयों को बहुत सारे शोध करने की आवश्यकता है.
निजी आंकड़ों की सुरक्षा से संबंधित बिल का मसौदा न्यायमूर्ति बीएन श्रीकृष्ण की अध्यक्षता वाली समिति ने तैयार किया है. इसके बाद जुलाई में विधेयक का मसौदा और डेटा संरक्षण रिपोर्ट पेश की. सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने 30 सितंबर तक प्रावधानों पर सार्वजनिक प्रतिक्रिया मांगी है. मसौदे के मुताबिक, धार्मिक या राजनीतिक रुझान, लिंग और बायोमीट्रिक जानकारी जैसी संवेदनशील व्यक्तिगत जानकारियों को स्पष्ट सहमति के बाद ही लिया जाये.
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