GST से भारत की राज्य सरकारों का घाटा कम होने की नहीं है संभावना : एसएंडपी रिपोर्ट

सिंगापुर : भारत में सामाजिक क्षेत्र पर बढ़ते खर्च के बीच वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) व्यवस्था से राज्य सरकारों के घाटा में कोई खास कमी आने की संभावना नहीं है. एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गयी है. रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय राज्यों का संस्थानिक खाका बेहतर हो रहा है, लेकिन […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 7, 2019 5:36 PM

सिंगापुर : भारत में सामाजिक क्षेत्र पर बढ़ते खर्च के बीच वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) व्यवस्था से राज्य सरकारों के घाटा में कोई खास कमी आने की संभावना नहीं है. एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गयी है. रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय राज्यों का संस्थानिक खाका बेहतर हो रहा है, लेकिन उनके द्वारा लगातार राजस्व व्यय के चलते हुआ ढांचागत घाटा इससे मेल नहीं खाता.

एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स के क्रेडिट विश्लेषक यीफार्न फुआ ने ‘सार्वजनिक वित्त प्रणाली परिदृश्य : भारतीय राज्य’ रिपोर्ट में कहा कि 2017 में पारित किया गया जीएसटी विधेयक भारत के कर ढांचे में आमूल-चूल परिवर्तन लाने वाला कदम रहा और यह कर आधार को बढ़ाने और राज्यों का राजस्व बेहतर करने में मदद करेगा.

उन्होंने कहा कि लेकिन राज्य अभी भी बड़े घाटे से गुजरते रहेंगे, क्योंकि खर्च के मोर्चे पर उनकी वित्त प्रणाली का एक प्रमुख हिस्सा असंतुलित है. राज्य अपने व्यय में कटौती करने में अक्षम हैं, क्योंकि उनका सामाजिक क्षेत्र पर व्यय बढ़ रहा है. साथ ही, पूंजीगत व्यय भी. ऐसे में उनका आय-व्यय में अंतर बड़ा बना रहेगा.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Next Article

Exit mobile version