नयी दिल्ली : सेवा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) 2018-19 में 36.5 फीसदी बढ़कर 9.15 अरब डॉलर रहा. उद्योग और आंतरिक व्यापार विभाग (डीपीआईआईटी) ने इस बात की जानकारी दी. इस क्षेत्र में 2017-18 में 6.7 अरब डॉलर का एफडीआई आया था. सेवा क्षेत्र में वित्त, बैंक, बीमा, आउटसोर्सिंग, अनुसंधान एवं विकास, कोरिअर, प्रौद्योगिकी परीक्षण तथा विश्लेषण शामिल हैं. हालांकि, दूरसंचार और औषधि क्षेत्र की एफडीआई में भारी गिरावट दर्ज की गयी है.
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सरकार ने निवेश आकर्षित करने के लिए कई अहम कदम उठाये हैं. इसमें मंजूरी के लिए तय समयसीमा तथा कारोबार सुगमता बढ़ाने की खातिर प्रक्रियाओं को दुरुस्त करना शामिल हैं. सेवा क्षेत्र में एफडीआई प्रवाह में वृद्धि महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में इसका योगदान 60 फीसदी से अधिक है. अप्रैल 2000 से मार्च 2019 के दौरान देश में आये कुल एफडीआई में क्षेत्र की हिस्सेदारी करीब 18 फीसदी रही.
कुल एफडीआई में 2018-19 में पिछले छह साल में पहली बार गिरावट दर्ज की गयी. यह एक फीसदी घटकर 44.37 अरब डॉलर रहा. दूरसंचार और औषधि क्षेत्र में विदेशी निवेश में भारी गिरावट से एफडीआई में कमी आयी.
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