लोगों के पास रखे सोने का मूल्य एक साल में 15 लाख करोड़ बढ़ा

राजेश कुमार रांची : यूं ही भारत को दुनिया में सोने का सबसे बड़ा खरीदार नहीं माना जाता है. भारतीयों का सोने के साथ काफी लगाव रहा है. यही कारण है कि घरेलू भारतीय बाजार में 24,000-25,000 टन सोना है. जानकारों का कहना है कि एक साल में सोने ने लगभग 30 प्रतिशत का रिटर्न […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 1, 2020 7:32 AM

राजेश कुमार

रांची : यूं ही भारत को दुनिया में सोने का सबसे बड़ा खरीदार नहीं माना जाता है. भारतीयों का सोने के साथ काफी लगाव रहा है. यही कारण है कि घरेलू भारतीय बाजार में 24,000-25,000 टन सोना है. जानकारों का कहना है कि एक साल में सोने ने लगभग 30 प्रतिशत का रिटर्न दिया है, जबकि एक माह में यह रिटर्न लगभग 4.45 प्रतिशत का है.

लगभग 80 लाख करोड़ रुपये हुई कीमत : एक ओर गिरती अर्थव्यवस्था से जहां आमलोगों में निराशा है, वहीं खुशी की बात यह है कि पिछले एक साल में सोने के दाम में आयी बढ़ोतरी की वजह से भारतीयों के पास रखे सोने की कीमत लगभग 15 लाख करोड़ रुपये से अधिक बढ़ गयी है. जबकि, कई लोगों को इसकी जानकारी भी नहीं है. 2018 में देश के लोगों के पास रखे सोने की कीमत लगभग 65 लाख करोड़ रुपये थी, जबकि 2019 में इसकी कीमत बढ़ कर लगभग 80 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गयी है.

भारतीय महिलाओं के पास दुनिया के कुल सोना का 11 प्रतिशत : दुनिया के कुल सोना का भारतीय महिलाओं के पास लगभग 11 प्रतिशत सोना है. अमेरिका जैसे देश के पास कुल 8,000 टन, जर्मनी के पास 3,500 टन, इटली और फ्रांस के पास 2,500 टन और रूस के पास 1,900 टन सोना है. भारतीय महिलाओं के बाद भारत के मंदिरों में लगभग 2,500 टन सोना है. केरल के पद्मनाभस्वामी मंदिर में लगभग 1,300 टन, तिरूपति बालाजी में 250-300 टन सोना है. इसके बाद सबसे अधिक बैंकों के पास सोना रखा हुआ है.

जिस हिसाब से सोने के मूल्य में इजाफा हुआ है. अगर यह फील गुड फैक्टर लोगों में आ जाये और अगर उन्हें अधिक खर्च करने के लिए प्रेरित करे, तो आनेवाले समय में यह इकोनॉमी के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है.

ललित त्रिपाठी, बाजार विशेषज्ञ

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