नयी दिल्ली : रिजर्व बैंक ने सोने के आयात पर अंकुशों में ढील देते हुए विवादास्पद 80:20 योजना को समाप्त कर दिया. उद्योग का मानना है कि इस कदम से बहुमूल्य धातु की कीमतों में गिरावट आएगी. उल्लेखनीय है कि 80:20 योजना के तहत सोना आयात का नया आर्डर देने से पहले आयातित सोने में से 20 प्रतिशत सोने के आभूषणों का निर्यात करना जरुरी था.
सोना आयात पर प्रतिबंध से जुडी 80:20 योजना अगस्त, 2013 में लागू की गई थी. चालू खाते के घाटे (कैड) बढने में सोने का आयात अहम माना जाता है. यह हैरान करने वाला कदम ऐसे समय उठाया गया है जब उद्योग को आशंका थी कि सोने के आयात पर नकेल कसी जा सकती है.
रिजर्व बैंक की अधिसूचना में कहा गया है, भारत सरकार ने 80:20 योजना को समाप्त करने व सोने के आयात पर अंकुशों में ढील देने का फैसला किया है. ऐसे में इस योजना के बारे में जारी सभी निर्देश वापस लिए जाते हैं. अक्तूबर में सोने का आयात 280 प्रतिशत बढकर 4.17 अरब डालर पर पहुंच गया. सितंबर में सोने का आयात 95 टन था, जो सितंबर, 2013 में मात्र 12 टन रहा था.
बाजार में इस तरह की धारणा थी कि सरकार व रिजर्व बैंक सोने के आयात पर अंकुश और कड़े कर सकते हैं. आल इंडिया जेम्स एंड ज्वेलरी फेडरेशन के चेयरमैन हरीश सोनी ने कहा, यह योजना पूरी तरह अव्यावहारिक थी. क्योंकि इससे एकाधिकार वाले कारोबारी व्यवहार को प्रोत्साहन मिल रहा था.
इस योजना को समाप्त किए जाने के बाद सोने के दाम नीचे आ सकते हैं, क्योंकि वैश्विक बाजार में कुल मांग घटी है. कच्चे तेल के दाम पहले ही नीचे आ चुके हैं और अब आयातक भी सोने के आयात पर कम प्रीमियम लेंगे. एक अधिकारी ने कहा, हमारा विश्वास है कि इस कदम से बाजार से विकृति को दूर किया जा सकेगा.
सटोरिये सोने के आयात पर कुछ नये प्रतिबंध लगाये जाने की उम्मीद कर रहे थे. सूत्रों ने कहा कि 80:20 योजना अपना काम कर रही थी. इससे सोने का आयात घटा था. लेकिन, तत्कालीन संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार द्वारा इसमें ढील दिए जाने के बाद सोने का आयात बढ गया.
संप्रग सरकार ने मई में नियमों में ढील देते हुए निजी क्षेत्र की छह ट्रेडिंग कंपनियों को 80:20 योजना के तहत सोना आयात की अनुमति दे दी. पहले सिर्फ सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों व बैंकों को इस योजना के तहत सोना आयात की अनुमति थी. सूत्रों ने बताया कि अप्रैल-सितंबर में कुल सोना आयात में 40 फीसद हिस्सा इन निजी क्षेत्र की छह कंपनियों का रहा.
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