18.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

रिजर्व बैंक ने बैंकों को दीर्घकालिक अवसंरचना बांड में निवेश की अनुमति दी

मुंबई : बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश बढाने की दिशा में कदम बढाते हुये रिजर्व बैंक ने आज बैंकों को दूसरे बैंकों द्वारा जारी दीर्घकालिक अवसंरचना बांड में निवेश की अनुमति दे दी. रिजर्व बैंक ने अवसंरचना क्षेत्र से जुडे विभिन्न उप-क्षेत्रों की दीर्घकालिक परियोजनाओं और सस्ती आवासीय परियोजनाओं में कर्ज देने के लिये जुलाई […]

मुंबई : बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश बढाने की दिशा में कदम बढाते हुये रिजर्व बैंक ने आज बैंकों को दूसरे बैंकों द्वारा जारी दीर्घकालिक अवसंरचना बांड में निवेश की अनुमति दे दी. रिजर्व बैंक ने अवसंरचना क्षेत्र से जुडे विभिन्न उप-क्षेत्रों की दीर्घकालिक परियोजनाओं और सस्ती आवासीय परियोजनाओं में कर्ज देने के लिये जुलाई 2014 में बैंकों को दीर्घकालिक बॉंड जारी करने की अनुमति दे दी थी. हालांकि, इसमें बैंकों को एक दूसरे के बॉंड में होल्डिंग की अनुमति नहीं दी है.

रिजर्व बैंक ने 2015-16 की आज जारी पहले द्वैमासिक नीतिगत वक्तव्य में कहा है, ‘समीक्षा करने के बाद यह तय किया गया कि बैंकों को इस तरह के दूसरे बैंकों द्वारा जारी बॉंड में निवेश की अनुमति दी जाये.’ हालांकि, इस तरह का निवेश कुछ शर्तों के साथ ही हो सकेगा. इसमें कहा गया है कि बैंकों का इस तरह का निवेश कुल जमा राशि के आकल में इसे भारत में बैंकों की परिसंपत्ति के रूप में नहीं गिना जाएगा.

इसके अलावा यह भी कहा है कि किसी खास बांड निर्गम में किसी दूसरे बैंक के निवेश की एक सीमा निर्धारित की जाएगी. केंद्रीय बैंक इस संबंध में जल्द ही विस्तृत दिशानिर्देश जारी करेगा. एक अन्य पहल के तहत रिजर्व बैंक ने गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) अवसंरचना ऋण कोष (एनबीएफसी आईडीएफ) की अनुमति देने का भी प्रस्ताव किया है ताकि इनसे बिना किसी त्रिपक्षीय समझौते के निजी सार्वजनिक भागीदारी (पीपीपी) श्रेणी की एक साल पूरा कर चुकी परियोजनाओं और गैर-पीपीपी परियोजनाओं के लिये दीर्घकालिक वित्तपोषण सुविधा उपलब्ध करायी जा सके. एनबीएफसी-आइडीएफ से वित्तपोषण की जा सकने वाली परियोजनाओं के स्वरुप में विस्तार को ध्यान मे रखते हुये यह प्रस्ताव किया गया है.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें