वाशिंगटन : वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि व्यापक आकार वाला बाजार होने से अंतरराष्ट्रीय झटकों को सहने की भारत की क्षमता काफी मजबूत है. रुपये की अन्य मुद्राओं के मुकाबले मजबूत स्थिति से इसकी झलक मिलती है. जेटली से जब बाह्य परिवेश के मद्देनजर जोखिम के स्तर के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘अंतरराष्ट्रीय कारकों का बेशक असर होता है. लेकिन भारतीय बाजार की गहराई और उसके व्यापक आकार को देखते हुए.
इन झटकों को ङोलने की हमारी क्षमता काफी मजबूत है.’ उल्लेखनीय है कि अमेरिका के केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व द्वारा इस साल से ब्याज दरों में वृद्धि शुरू किये जाने की चर्चा है. फेडरल रिजर्व के ऐसा करने से माना जा रहा है कि भारतीय बाजारों में विदेशी पूंजी प्रवाह प्रभावित होगा और रुपया कमजोर पड़ सकता है. जेटली ने कहा, ‘पहले भी जब अंतरराष्ट्रीय रझानों में काफी उठापटक हुई, हमारी अपने घरेलू बाजारों पर निर्भरता से हम पहले से ज्यादा स्थिर रहे, और हम इसे खतरा अथवा जोखिम नहीं मानते .. यदि हम अपनी आंतरिक क्षमता के साथ अपनी सुधार प्रक्रिया के साथ आगे बढ़ सकते हैं, यह हमारी मजबूती है.’ वित्त मंत्री ने कहा कि कुल मिलाकर भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूती इस बात में दिखती है कि रुपया ज्यादातर स्थिर दायरे में ही बना रहे. उन्होंने कहा, ‘हमारा यह विश्वास रहा है कि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा बाजार में रुपया अपने वास्तविक मूल्य अथवा अपनी मजबूती को हासिल कर लेगा. ’
हरित प्रौद्योगिकियों का विकास हो
जेटली ने कहा है कि भारत जलवायु परिवर्तन से उत्पन्न खतरे से लड़ने में अपनी भूमिका निभाने को तैयार है और विश्व समुदाय को हरित प्रौद्योगिकियों का विकास ‘युद्धस्तर पर’ करने की आवश्यकता है. वित्त मंत्री ने कहा, ‘भारत इस आम समस्या का समाधान करने की दिशा में अपने हिस्से की भूमिका निभाने को तैयार है.
वित्त विधेयक पारित होने तक सेवाकर का भुगतान नहीं
वित्त मंत्रलय ने लोगों से कहा है कि वह बजट में प्रस्तावित 14 प्रतिशत की सेवाकर दर का अभी भुगतान नहीं करें, क्योंकि अभी संसद में वित्त विधेयक पारित नहीं हुआ है. राजस्व सचिव शक्तिकांत दास ने कहा है कि यदि कोई प्रतिष्ठान 14 प्रतिशत सेवाकर मांगता है तो उपभोक्ता स्थानीय मुख्य आयुक्त के पास शिकायत कर सकते हैं. वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 2015-16 के बजट भाषण में सेवाकर की दर को 12 से बढ़ाकर 14 प्रतिशत करने का प्रस्ताव किया है.
काला धन : प्रगति शून्य
आम चुनाव में भाजपा के पक्ष में खुल कर प्रचार करनेवाले बाबा रामदेव ने शनिवार को दार्जीलिंग में एक निजी चैनल से बातचीत में कहा कि काला धन वापस लाने पर सरकार की प्रगति अभी शून्य है. इस पर तेजी से काम करने की जरूरत है. इस मुद्दे पर लोग उनसे भी सवाल पूछते हैं.
कालेधन पर दिया सुझाव
वित्त मंत्री ने वैश्विक स्तर पर वित्तीय सूचनाओं के स्वत: आदान प्रदान की व्यवस्था के लिए साझा रिपोर्टिंग मानकों के तुरंत क्रियान्वयन पर जोर दिया और कहा है कि कालेधन से उत्पन्न चुनौती से निपटने का यही एकमात्र रास्ता है. जेटली ने कहा कि विदेशों के जरिये कर अपवचंन और अवैध धन के प्रवाह की समस्या से विभिन्न देशों के बीच वित्तीय लेखाओं से जुड़ी सूचनाओं के मुक्त रूप से आदान प्रदान के जरिये ही निपटा जा जा सकता है. जेटली यहां अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष और विश्व बैंक की गर्मियों की सालाना बैठक में भाग लेने पहुंचे हैं. बैठक के दौरान ‘अंतरराष्ट्रीय कर मुद्दों’ पर जारी सत्र में हस्तक्षेप के दौरान उन्होंने यह बात कही.
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