नई दिल्ली: सेवानिवृत्ति कोष प्रबंधक कर्मचारी भविष्य निघि संगठन (ईपीएफओ) 2013-14 में भविष्य निधि के लिये 8.5 प्रतिशत की दर से ब्याज देने की घोषणा कर सकता है. पिछले वित्त वर्ष में भी इसी दर से ब्याज दिया गया था.
सूत्रों के अनुसार, शुरआती अनुमानों से यह संकेत मिलता है कि ईपीएफओ के पांच करोड़ अंशधारकों को 8.5 प्रतिशत की दर से ब्याज का भुगतान करने से संगठन को किसी तरह का घाटा नहीं उठाना पड़ेगा बल्कि यह फैसला यदि लिया जाता है तो इससे ईपीएफओ के पास कुछ राशि अधिशेष रह जायेगी.सूत्रों का कहना है कि ब्याज दर को मामूली तौर पर बढ़ाकर 8.75 प्रतिशत करने से ईपीएफओ को घाटा हो सकता है और यह वित्त मंत्रालय को स्वीकार नहीं होगा.
ईपीएफओ अपनी श्रम मंत्री के नेतृत्व वाले केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) की बैठक 23 सितंबर को बुला सकता है. यह इसकी निर्णय लेने वाली सर्वोच्च संस्था है. बैठक में ब्याज दर के बारे में निर्णय लिया जा सकता है.बैठक के दौरान ट्रस्टी ईपीएफओ की सलाहकार समिति वित्त और निवेश समिति :एफआईसी: का पुनर्गठन करेंगे. यह समिति केंद्रीय न्यासी बोर्ड को ब्याज दरों के बारे में सिफारिश देगी.
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