मुंबई : प्रवर्तन निदेशालय ने 900 करोड रुपए से ज्यादा के आईडीबीआई ऋण धोखाधडी मामले में शराब कंपनी के दिग्गज विजय माल्या को नये समन भेजकर दो अप्रैल को एजेंसी के जांच अधिकारियों के समक्ष निजी तौर पर पेश होने के लिए कहा है. यूनाइटेड ब्रियेरीज (यूबी) समूह के अध्यक्ष माल्या ने कल एजेंसी से मोहलत मांगते हुए कहा था ईडी के समक्ष उनकी पेशी के लिए आज के बजाय बाद की कोई तारीख रख दी जाए. इसके बाद ये नये समन जारी किये गये. आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि एजेंसी ने माल्या की याचिका स्वीकार कर ली और उन्हें ‘निजी तौर पर जांच में शामिल होने’ के लिए दो अप्रैल की नयी तारीख दे दी.
विवादों में घिरे उद्योगपति ने मामले के जांच अधिकारी को कल ईमेल के जरिए सूचित किया कि वह आज की तारीख पर पेश नहीं हो पाएंगे. इसके साथ ही उन्होंने इस संदर्भ में अगले माह की कोई नयी तारीख देने का अनुरोध भी किया. उन्होंने कहा कि माल्या द्वारा दिये गये ‘जवाब और कारणों का अध्ययन करने के बाद एजेंसी ने नयी तारीख दी है. इस जवाब में वह संवाद भी शामिल है, जिसमें माल्या ने कहा था कि उसने कुछ एजेंसियों को पहले ही यह कह रखा था कि वह मार्च में भारत से बाहर रहेंगे.
धन शोधन रोकथाम कानून के तहत नोटिस
माल्या को नए समन धन शोधन रोकथाम कानून (पीएमएलए) के तहत जारी किये गये हैं और इसके तहत उन्हें अपने निजी निवेशों और वित्त से जुडे दस्तावेज और पिछले पांच साल के आयकर रिटर्न और पासपोर्ट पेश करने होंगे. ईडी के निदेशक करनाल सिंह एजेंसी द्वारा की जा रही हाई प्रोफाइल मामलों की जांच के निरीक्षण के लिए कल से यहां मौजूद हैं. इनमें माल्या के मामले के अलावा, महाराष्ट्र के पूर्व उप मुख्यमंत्री और राकांपा नेता छगन भुजबल, उसके परिवार और अन्य से जुडे मामले शामिल हैं.
पिछले साल सीबीआई ने दर्ज करायी थी प्राथमिकी
ईडी ने पिछले साल दर्ज सीबीआई प्राथमिकी के आधार पर हाल ही में माल्या और अन्य के खिलाफ धन शोधन का एक मामला दर्ज किया था. एजेंसी अब निष्क्रिय हो चुकी किंगफिशर एयरलाइंस की समग्र वित्तीय संरचना की भी जांच कर रही है. वह इस बात की भी जांच करेगी कि ऋण लेने के लिए कोई रिश्वत तो नहीं दी गयी. सीबीआई ने अपनी प्राथमिकी में किंगफिशर एयरलाइंस के अध्यक्ष माल्या, उसके निदेशकों, एयरलाइंस के पूर्व प्रमुख वित्तीय अधिकारी ए रघुनाथन और आईडीबीआई बैंक के अज्ञात अधिकारियों के नाम दर्ज किए थे. प्राथमिकी में आरोप लगाया गया था कि ऋण को राशि की तय सीमा से जुडे नियमों का उल्लंघन करके मंजूरी दी गई.
पैसा अवैध रूप से विदेश भेजने का भी हो रही जांच
ईडी उन संभावित अपराधिक कृत्यों की भी पडताल कर रही है, जिन्हें इस कथित रिण धोखाधडी से मिली राशि का इस्तेमाल करके अंजाम दिए जाने की आशंका है. एजेंसी इस बात की भी जांच कर रही है कि क्या इसमें से कुछ राशि अवैध रूप से विदेश भी भेजी गई? एजेंसी ने एसबीआई के नेतृत्व वाले 17 बैंकों के एक संघ को भी पत्र लिखा है. इस संघ में शामिल बैंको ने बंद हो चुकी एयरलाइंस को ऋण दिया था और उसके बाद ये 9000 करोड रुपये से ज्यादा के ऋण की वसूली के लिए ‘डेट रिकवरी ट्रिब्यूनल’ गये थे.
विदेशी संपति से जुड़ी जानकारी जुटा रही है सुरक्षा एजेंसी
इस संघ ने आयकर विभाग और सेवाकर विभाग और गंभीर धोखाधडी जांच कार्यालय (एसएफआईओ) द्वारा पूर्व में एयरलाइन के खिलाफ की गई जांच से जुडी जानकारी मांगते हुए आधिकारिक अनुरोध भी किया था. इसके अलावा ईडी केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों और सीबीआई के साथ समन्वय करते हुए माल्या और उसकी कंपनी के अधिकारियों की विदेशी और घरेलू संपत्ति से जुडी जानकारियां भी एकत्र कर रही है. एजेंसी पहले ही धन शोधन मामले में दो वरिष्ठ अधिकारियों- रघुनाथन और यूबी के पूर्व प्रमुख वित्तीय अधिकारी रवि नेदुंगाडी से कई अन्य आरोपियों के साथ पूछताछ कर चुकी है.
चोरों को पकडने से देश को नुकसान नहीं होगा : राहुल बाजाज
बैंकों के करीब 9,000 करोड रुपये के कर्जदार विजय माल्या के देश छोडने के बाद खडे हुए विवाद की पृष्ठभूमि में जानेमाने उद्योगपति राहुल बाजाज ने जानबूझकर कर्ज की अदायगी नहीं करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की पैरवी करते हुए आज कहा कि ‘चोरों को पकडने से देश को नुकसान नहीं होगा.’ उन्होंने कहा, ‘जहां उचित कारण (कर्ज का भुगतान नहीं करने का) हैं, वहां कार्रवाई नहीं होनी चाहिए. जहां कर्ज को दूसरे मकसद के लिए भेज दिया गया वहां कार्रवाई होनी चाहिए. चोरों को पकडने से देश को नुकसान नहीं होगा.’ वह इंडिया टुडे कांक्लेव में बोल रहे थे. भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि इसकी जांच की जा रही है माल्या देश से बाहर कैसे चले गए.
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