चेन्नई : नोटबंदी के बाद कर चोरी के मामलों की जांच में आयकर विभाग ने शहर के कई स्थानों पर छापे मारकर 10 करोड़ रुपये के नये नोटों समेत कुल 106 करोड़ रुपये नकद और 127 किलोग्राम सोना जब्त किया है. सरकार के 500 और 1000 रुपये के पुराने नोटों को चलन से बाहर करने के बाद नोटों की जब्ती का यह सबसे बड़ा मामला है. आयकर विभाग ने यहां कल यह अभियान शुरू किया था. आयकर विभाग के अधिकारियों ने बताया कि राज्य सरकार के साथ काम करने वाले एक ठेकेदार एस.
रेड्डी ने दावा किया है कि यह सारा धन और सोना उसका है. विभाग उससे पूछताछ कर रहा है. विभाग के एक शीर्ष अधिकारी ने बताया, ‘अभियान में अधिकारियों ने एक-एक किलोग्राम वजनी 127 सोने की ईंटें, बंद किये जा चुके 96 करोड़ रुपये के पुराने नोट और 10 करोड़ रुपये के 2,000 रुपये के नये नोट जब्त किये हैं.’
विभाग को पिछले कुछ दिनों में रेड्डी और अन्य लोगों की गतिविधियों के बारे में गुप्त सूचना मिली थी जिसके आधार पर यह छापे मारे गये हैं. अधिकारियों ने बताया कि विभाग इस बात की जांच कर रहा है कि इतनी बड़ी मात्रा में नये नोट एक ही व्यक्ति के पास कैसे पहुंचे. इसके अलावा 2000 रुपये के इन नये नोटों की गड्डियों पर बैंक की कोई पर्ची भी नहीं है.
अधिकारियों ने बताया कि आयकर विभाग की टीम ने मुद्रा रुपांतरण में शामिल ‘सिंडिकेट’ के कम से कम आठ स्थानों पर अभियान शुरू किया और यह राशि जब्त की. अधिकारियों ने बताया कि वित्तीय लेन-देन, सोने की बिक्री की प्रविष्टियों और बिक्री-खरीद के रिकॉर्ड से संबंधित कई दस्तावेज भी जब्त किये गये.
उन्होंने बताया कि कथित सिंडिकेट के तीन लोगों से पूछताछ की जा रही है. जांच के दायरे में कुछ अन्य लोग भी हैं जिनमें कुछ बैंक अधिकारी भी शामिल हैं. पिछले दिनों कर विभाग ने बेंगलुरु में 5.7 करोड़ रुपये के नये नोट बरामद किये थे. इसके बाद सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय ने नोटबंदी के बाद बड़े पैमाने पर हवाला लेनदेन, भ्रष्टाचार और धनशोधन की जांच शुरू की है.
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