14.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

मैसूर व होशंगाबाद प्रेस में नोटों की छपाई के लिए घरेलू कागज का इस्तेमाल

नयी दिल्ली : आयात पर निर्भरता को कम करते हुए और ‘मेक इन इंडिया’ अभियान के अनुरुप मैसूर और होशंगाबाद के नोटों की छपाई करने वाले प्रेस 50 प्रतिशत घरेलू कागज का इस्तेमाल कर रहे हैं. सिक्योरिटी प्रिटिंग एंड मिन्टिंग कार्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (एसपीएमसीआईएल) के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक प्रवीण गर्ग ने आज यहां […]

नयी दिल्ली : आयात पर निर्भरता को कम करते हुए और ‘मेक इन इंडिया’ अभियान के अनुरुप मैसूर और होशंगाबाद के नोटों की छपाई करने वाले प्रेस 50 प्रतिशत घरेलू कागज का इस्तेमाल कर रहे हैं. सिक्योरिटी प्रिटिंग एंड मिन्टिंग कार्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (एसपीएमसीआईएल) के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक प्रवीण गर्ग ने आज यहां यह जानकारी दी.

इन दोनों संयंत्रों की क्षमता 18,000 टन की है. उन्होंने कहा, ‘हम पहले से स्वदेशी कागज पर यह काम कर रहे हैं. दो इकाइयों में छपाई का काम करीब 50 प्रतिशत स्वदेशी कागज पर हो रहा है. बाकी 50 प्रतिशत छपाई आयातित कागज पर हो रही है.’

एसपीएमसीआईएल नोटों की छपाई और सिक्कों की ढलाई का काम करती है. यह मौजूदा समय में कुल करेंसी के 40 प्रतिशत की छपाई करती है और शेष 60 प्रतिशत छपाई का काम रिजर्व बैंक के प्रेस के द्वारा किया जाता है. हालांकि सिक्कों की 100 प्रतिशत ढलाई का काम एसपीएमसीआईएल करती है.

यह कंपनी भारतीय रिजर्व बैंक नोट मुद्रण प्रा.लि (बीआरबीएनएमपीएल) और बैंक नोट पेपर मिल इंडिया प्रा.लि. का संयुक्त उद्यम है.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें