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जानिये आज से कैसे होगी आपकी जेब ढीली, वित्त वर्ष के साथ ही देश में बदल गया है बहुत कुछ

नयी दिल्ली : आज पहली अप्रैल है. पहली अप्रैल का आम तौर पर मतलब लोगों को मूर्ख बनाने से लगाया जाता है. आज से ही शुरू हो चुके नये वित्त वर्ष में आप किसी को मूर्ख नहीं बना रहे और न आपको कोई मूर्ख बना रहा है, बल्कि आज ही से देश में बहुत कुछ […]

नयी दिल्ली : आज पहली अप्रैल है. पहली अप्रैल का आम तौर पर मतलब लोगों को मूर्ख बनाने से लगाया जाता है. आज से ही शुरू हो चुके नये वित्त वर्ष में आप किसी को मूर्ख नहीं बना रहे और न आपको कोई मूर्ख बना रहा है, बल्कि आज ही से देश में बहुत कुछ बदल चुका है. इस बदलाव से आपकी जेब की सेहत पर कितना और कैसे असर पड़ेगा, यह जानना भी आपको बहुत जरूरी है. आज से शुरू हो चुके नया वित्तीय वर्ष वित्तीय वर्ष आपके लिए काफी कुछ सहूलियतों की सौगात लाया है, तो सरकार की ओर से आपकी जेब की सेहत के संतुलन को खराब करने वाले कई नये नियम भी लागू कर दिये गये हैं, जिससे आपका आर्थिक स्वास्थ्य गड़बड़ा सकता है. कैसे, पढ़िये यह रिपोर्ट…

सहूलियत देगी रेलवे की ‘विकल्‍प’ योजना

रेलवे की नयी योजना ‘विकल्‍प’ के तहत प्रतीक्षा सूची में शामिल कुछ यात्रियों को उसी रूट पर चलने वाली दूसरी ट्रेनों में खाली पड़ी सीट के आवंटन होने से आपको यात्रा के दौरान काफी सहूलियत मिलेगी. अभी यह सुविधा सिर्फ ई-टिकट पर लागू होगी. इसके तहत यात्रियों को टिकट बुक कराते समय आपको विकल्‍प का चयन करना होगा. किराये में अंतर पर रेलवे न तो यात्रियों से अतिरिक्‍त शुल्‍क वसूलेगा और न ही पैसे वापस करेगा. इसमें यह भी व्‍यवस्‍था है कि वैकल्पिक ट्रेन में सीट मिलने पर मूल ट्रेन से यात्रा करने की अनुमति नहीं होगी. साथ ही, इसमें यह भी सुविधा मिलेगी कि मूल ट्रेन (जिसमें रिजर्वेशन करवाया था) के छूटने के समय के 12 घंटे के भीतर ही दूसरी ट्रेनों में आरक्षण मिल सकेगा.

एसबीआई खाते में मिनिमम बैलेंस जेब करायेगा ढीला

एक अप्रैल से देश के सबसे बड़े भारतीय स्‍टेट बैंक के खाते में पैसों की तीन बार ही जमा-निकासी हो सकेगी. उसके बाद हर जमा-निकासी पर 50 रुपये का भुगतान करना पड़ेगा. इसके साथ ही, अब खातों में पांच हजार रुपये न्‍यूनतम बैलेंस भी रखना होगा. इसके तहत न्‍यूनतम राशि नहीं रखने पर 20 से 100 रुपये जुर्माना भी भरना पड़ेगा. करेंट अकाउंट में यह राशि 500 रुपये तक हो सकती है. हर तीन महीने में 15 रुपये एसएमएस शुल्‍क भी वसूला जायेगा. इसके साथ ही एक अप्रैल 2017 से 31 मार्च 2018 तक दो लाख रुपये तक का ही नकद लेनदेन किया जा सकेगा.

वाहन एवं स्वास्थ्य बीमा प्रीमियम की बढ़ेंगी दरें

वाहन एवं स्वास्थ्य बीमा के तहत एजेंटों को दिये जाने वाले कमीशन के साथ-साथ थर्ड पार्टी इंश्‍योरेंस की प्रीमियम की दरें भी बढ़ेंगी. 1000 से 1500 सीसी से अधिक क्षमता वाले वाहनों पर थर्ड पार्टी बीमा का प्रीमियम मौजूदा 2,237 से बढ़कर 3,335 रुपये के करीब होगा. 1500 सीसी से अधिक क्षमता वाले वाहनों के लिए यह राशि मौजूदा 6,164 रुपये से बढ़कर 9246 हो जायेगी. दो पहिया वाहनों के लिहाज से 75 से 150 सीसी इंजन वाले दोपहिया वाहनों के लिए थर्ड पार्टी का प्रीमियम 619 रुपये से बढ़कर 720 रुपये तो 150 से 330 सीसी वाले इंजन वाले वाहनों के लिए यह 693 रुपये से बढ़कर 978 रुपये हो जायेगा.

आयकर की सीमा देगी थोड़ी राहत

आम बजट की घोषणा के अनुरूप 2.5 से 5 लाख तक की वार्षिक आय पर 10 फीसदी के बजाय 5 फीसदी आयकर देना होगा. इसके अलावा, पांच लाख रुपये तक की सालाना आय वालों के लिए एक पन्‍ने का सरल आयकर रिटर्न फॉर्म ऑनलाइन उपलब्‍ध होगा. किराये पर होने वाली कमाई अगर 50 हजार रुपये है, तो पांच फीसदी स्रोत पर टीडीएस देना होगा.

बीएस-3 वाहनों की बिक्री पर रोक से कारोबारियों और उद्यमियों को नुकसान

ऑटो निर्माता कंपनियां अब बीएस-3 मॉडल की गाड़ियों को नहीं बेच पायेंगी. सुप्रीम कोर्ट ने देश भर में ऐस वाहनों की बिक्री पर लगी रोक बरकरार रखने का फैसला सुनाया है. इससे वाहन निर्माता कंपनियों को भारी नुकसान होने की आशंका है. कंपनियों के स्टॉक में करीब 8.2 लाख बीएस-3 मॉडल के वाहन हैं. सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा है कि कंपनियों को पता था कि 1 अप्रैल से बीएस-4 मॉडल के ही वाहन बेचे जा सकेंगे. फिर भी उन्होंने तय सीमा में अपने स्टाक खत्म नहीं किया. कोर्ट ने यह भी कहा कि सड़क पर चलने वाले वाहनों के अनुपात में संख्या कम हो, लेकिन लोगों के स्वास्थ्य को ताक पर नहीं रखा जा सकता.

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