16.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

BYJU’s Crisis: बायजू के फाउंडर रवींद्रन को छोड़नी पड़ेगी कंपनी? जानें निवेशकों ने क्यों बुलाई EGM

BYJU's Crisis: निवेशकों ने बायजू रवीन्द्रन (Byju's Founder Raveendran) और उनके परिवार के सदस्यों पर ‘कुप्रबंधन और विफलताओं’ का आरोप लगाते हुए उन्हें हटाने की मांग की है.

BYJU’s Crisis: भारतीय स्टॉर्ट अप और शिक्षा-प्रौद्योगिकी मंच बायजू पर आर्थिक संकट गहराता जा रहा है. एक तरफ जहां दिसंबर तिमाही के नतीजों के बाद, कंपनी देश की सबसे ज्यादा घाटा वाली कंपनियों की लिस्ट में शामिल हो गयी है. वहीं, इस उथल-पुथल के बीच कंपनी के प्रमुख निवेशकों के एक समूह ने इसके संस्थापक मुख्य कार्यपालक अधिकारी (CEO) को हटाने के लिए शुक्रवार को असाधारण आम बैठक बुलाई है. सूत्रों ने कहा कि इन निवेशकों ने बायजू रवीन्द्रन (Byju’s Founder Raveendran) और उनके परिवार के सदस्यों पर ‘कुप्रबंधन और विफलताओं’ का आरोप लगाते हुए उन्हें हटाने की मांग की है. उन्होंने बताया कि जिन शेयरधारकों ने ईजीएम बुलाई है, उनके पास सामूहिक रूप से बायजू में 30 प्रतिशत से अधिक हिस्सेदारी है. रवीन्द्रन और पारिवारिक सदस्यों के पास कंपनी में लगभग 26 प्रतिशत हिस्सेदारी है. बता दें कि इससे पहले कंपनी के संस्थापक रवीन्द्रन को दिसंबर में अपना घर गिरवी रखकर कर्मचारियों को सैलरी देनी पड़ी थी.

Read Also: पेटीएम वॉलेट में अभी भी पड़ा है पैसा! घबराएं नहीं, एक्सपर्ट से जानें अपनी हर समस्या का समाधान

ईजीएम में निकालने का दिया नोटिस


जानकार सूत्रों ने कहा कि असाधारण आम बैठक (ईजीएम) के लिए दी गई नोटिस में थिंक एंड लर्न के मौजूदा बोर्ड को बाहर करने की अपील की गई है. थिंक एंड लर्न बायजू ब्रांड नाम के तहत संचालन करती है. बोर्ड में रवीन्द्रन, उनकी पत्नी और सह-संस्थापक दिव्या गोकुलनाथ और उनके भाई रिजु रवींद्रन शामिल हैं. ईजीएम की नोटिस में इऩ लोगों के निष्कासन की मांग के कारणों का विवरण देते हुए वित्तीय कुप्रबंधन, कंपनी के कानूनी अधिकारों को लागू करने में प्रबंधन की विफलता और महत्वपूर्ण जानकारी को छिपाने के आरोप लगाए गए.

क्यों फेल हो गयी कंपनी


शिक्षा-प्रौद्योगिकी मंच के रुप में बायजू काफी तेजी से उभरा. इसके माध्यम से छात्रों को सस्ते में अच्छी ऑनलाइन शिक्षा मिल रही थी. कोविड काल में कंपनी ने बेहतरीन प्रदर्शन किया. साथ ही, बच्चों की काफी मदद हुई. मगर कई कारणों से कंपनी की स्थिति खराब हो गयी.

बाजार प्रतिस्पर्धा
भारत में एड-टेक बाजार संतृप्त हो गया, जिसमें कई खिलाड़ी हिस्सा लेने के लिए प्रतिस्पर्धा करने लगे. स्थापित प्रतिस्पर्धियों और उभरते स्टार्टअप्स ने प्रतिस्पर्धा तेज कर दी, जिससे बायजू के लिए बाजार में अपना प्रभुत्व बनाए रखना चुनौतीपूर्ण हो गया.

स्केलिंग और परिचालन बाधाएं
तेजी से विस्तार ने परिचालन संबंधी चुनौतियां पैदा कीं, जिससे ग्राहक सेवा और सामग्री वितरण की गुणवत्ता प्रभावित हुई. विकास को प्रभावी ढंग से प्रबंधित करने में असमर्थता के कारण ग्राहक प्रतिधारण संबंधी समस्याएं पैदा हुईं.

धन उगाही पर अत्यधिक निर्भरता
बायजू ने निरंतर धन उगाहने पर बहुत अधिक भरोसा किया, जिससे वास्तविक विकास लक्ष्यों को पूरा करने के लिए अत्यधिक दबाव पैदा हुआ. ठोस राजस्व धाराओं के बिना स्केलिंग पर ध्यान केंद्रित करने से एक अस्थिर व्यवसाय मॉडल तैयार हुआ.

छंटनी का निर्णय और उसका प्रभाव
जैसे ही बायजू को बढ़ती चुनौतियों का सामना करना पड़ा, कंपनी ने छंटनी को लागू करने का कठिन निर्णय लिया, जिससे उसके कार्यबल का एक महत्वपूर्ण हिस्सा प्रभावित हुआ. इस कदम ने न केवल कंपनी के संघर्षों की गंभीरता को उजागर किया बल्कि कर्मचारियों के मनोबल और सार्वजनिक धारणा पर भी असर पड़ा. छंटनी के फैसले ने बायजू के आंतरिक मुद्दों को सामने ला दिया, जिससे कंपनी की तूफान का सामना करने की क्षमता और प्रतिभा प्रबंधन के दृष्टिकोण पर सवाल उठाया गया.

राजस्व और निवेशकों के विश्वास में गिरावट
बायजू को शुरू में एक यूनिकॉर्न के रूप में प्रतिष्ठित किया गया था. लेकिन बाजार संतृप्ति और बढ़ती प्रतिस्पर्धा के कारण इसकी राजस्व वृद्धि स्थिर होने लगी. राजस्व धाराओं में विविधता लाने में विफलता और कुछ प्रमुख उत्पादों पर अत्यधिक निर्भरता ने टिकाऊ विकास की इसकी क्षमता को सीमित कर दिया.

(भाषा इनपुट के साथ)

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें