Karvy Stock Broking Limited प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने कार्वी स्टॉक ब्रोकिंग लिमिटेड (KSBL) से जुड़े छह स्थानों पर शनिवार को छापा मारा है. बैंक धोखाधड़ी मामले में ईडी ने यह कार्रवाई की है. न्यूज एजेंसी एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक, प्रवर्तन निदेशालय ने कंपनी के चेयरमैन सी पार्थसारथी और उनके परिवार द्वारा प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रखे गए 700 करोड़ रुपये के शेयर जब्त किए गए हैं.
इससे पहले ईडी ने कार्वी स्टॉक ब्रोकिंग लिमिटेड के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग जांच के सिलसिले में बुधवार को हैदराबाद में कई जगहों और देशभर में कई स्थानों पर छापा मारा था. केएसबीएल के चेयरमैन और एमडी सी पार्थसारथी का बयान दर्ज करने के बाद ईडी की ओर से यह कार्रवाई की गई. आधिकारिक सूत्रों के हवाले से मीडिया रिपोर्ट में बताया गया कि छापे केएसबीएल और पार्थसारथी व अन्य गिरफ्तार आरोपियों से जुड़े आवासीय परिसरों, कार्यालयों मारे गए.
Enforcement Directorate (ED) conducted a search operation at 6 locations of Karvy Stock Broking Limited under PMLA in connection with a bank fraud case. Shares worth Rs 700 crores, held directly & indirectly by company chairman C Parthasarathy and his family, have been seized pic.twitter.com/Z1hIdoDNTY
— ANI (@ANI) September 25, 2021
बता दें कि प्रवर्तन निदेशालय ने 5 सितंबर को हैदराबाद की चंचलगुड़ा केंद्रीय जेल में बंद मुख्य आरोपी पार्थसारथी का बयान दर्ज किया था. बाद में एजेंसी ने हैदराबाद पुलिस की सेंट्रल क्राइम स्टेशन (सीसीएस) द्वारा दर्ज एफआईआर के आधार पर प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत मामला दर्ज किया था. इंडसइंड बैंक ने कार्वी के खिलाफ सीसीएस के डिटेक्टिव विभाग (डीडी) में मामला दर्ज कराया था. आरोप लगाया था कि कार्वी ने बैंक से 137 करोड़ रुपये का क्रेडिट लिया था, लेकिन उसने इस पैसे का इस्तेमाल अपने और संबंधित कारोबारी कंपनियों में किया.
सीसीएस ने इंडसइंड बैंक, एचडीएफसी बैंक और क्लाइंट से धोखाधड़ी के लिए चार मामले दर्ज किए हैं. एचडीएफसी ने 359 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी का आरोप लगाया है. इस मामले में पार्थसारथी समेत दो अन्य लोगों को गिरफ्तार किया गया है. वहीं, बीते दिनों कार्वी स्टॉक ब्रोकिंग लिमिटेड के प्रवर्तक सी पार्थसारथी तथा अन्य के खिलाफ आईसीआईसीआई बैंक के साथ 563 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया.
पुलिस के अनुसार आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 406 (विश्वास के आपराधिक हनन), धारा 420, 34 के साथ पढ़े (धोखाधड़ी) के तहत मामला दर्ज किया गया है. पुलिस ने मुताबिक, केएसबीएल ने अपने छह बैंकरों के शेयर गिरवी रखकर जो राशि जुटाई उसे फर्म के ही बैंक खातों में स्थानांतरित कर दिया गया, स्टॉक ब्रोकर के ग्राहक खाते में नहीं डाला गया. यह सेबी के दिशानिर्देशों का उल्लंघन है.
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