Food Waste Index Report 2021 संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) की रिपोर्ट में खाद्य उत्पादन की बर्बादी को लेकर एक चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. यूएन एन्वायरन्मेंट प्रोग्राम और पार्टनर ऑगेनाइजेशन डब्ल्यूआरएपी के सहयोग से फूड वेस्ट इंडेक्स रिपोर्ट 2021 में इस बारे में दी गयी जानकारी के मुताबिक, भारत में प्रति वर्ष एक हिन्दुस्तानी 50 किग्रा खाना बर्बाद करता है. वहीं, रिपोर्ट के अनुसार, दुनियाभर में 69 करोड़ लोग भुखमरी के शिकार है.
रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि दुनियाभर में हर साल 17 फीसद खाद्य उत्पादन बर्बाद हो जाता है, जो करीब 1.03 अरब टन होता है. यह बर्बादी पिछली रिपोर्टो से कहीं अधिक है. बताया गया है कि ज्यादातर बर्बादी या उसका 61 फीसद घरों में होती है. जबकि, खाद्य सेवाओं में यह बर्बादी 26 फीसद और फुटकर में 13 फीसद है. संयुक्त राष्ट्र की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि 2019 में 930 करोड़ टन खाना कचरे में बर्बाद किया गया.
यूएन की रिपोर्ट में कहा गया है कि खराब किया गया ये भोजन भी खेतों में ही उगता है और सप्लाई चेन के माध्यम से बाजारों और फिर ग्राहकों तक पहुंचता है. इसके बाद इसको खाया नहीं जाता है और इसको कचरे के डिब्बे में फेंक दिया जाता है. जबकि, इस भोजन से करोड़ों लोगों का पेट भरा जा सकता है. रिपोर्ट के मुताबिक, खाना बर्बाद होने का असर न सिर्फ सामाजिक तौर पर काफी व्यापक होता है, बल्कि ये पर्यावरण को भी काफी नुकसान पहुंचाता है. इसकी वजह से देश की आर्थिक स्थिति पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है.
इस रिपोर्ट में बताया गया है कि खाने की बर्बादी को रोककर हम ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन को कम कर सकते हैं. इस रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2019 में करीब 690 मिलियन लोग भुखमरी के शिकार थे, जबकि तीन बिलियन ऐसे थे जिन्हें हेल्दी डाइट नहीं मिलती थी.
Upload By Samir Kumar
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