37 लाख से अधिक रेलवे के कमर्चारियों को UMID, सिर्फ 100 रुपये में टॉप के हॉस्पिटल में फ्री इलाज
UMID: रेलवे बोर्ड के कार्यकारी निदेशक प्रणव कुमार मलिक ने 2 सितंबर 2024 को यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड जारी करने के आदेश दे दिया है. इस कार्ड को हेल्थ मैनेजमेंट इन्फॉर्मेशन सिस्टम (एचएमआईएस) के माध्यम से डिजीलॉकर में रखा जाएगा. यह कर्मचारियों-पेंशनर्स की प्रोफाइल पर भी उपलब्ध होगा.
UMID: भारतीय रेलवे (Indian Railways) ने अपने 37 लाख से अधिक कर्मचारियों, पेंशनरों और उनके आश्रितों को बड़ा तोहफा दिया है. रेलवे ने उनके स्वास्थ्य की देखभाल के लिए नीतियों में बदलाव करते हुए यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड (UMID Card) जारी करने का फैसला किया है. इस कार्ड के जरिए रेलवे के करीब 12.5 लाख कर्मचारी, 15 लाख से अधिक पेंशनर्स और करीब 10 लाख से अधिक उनके आश्रित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) समेत बड़े अस्पतालों में सिर्फ 100 रुपये में अपना इलाज करा सकेंगे.
कर्मचारियों की शिकायत पर रेलवे ने उठाया कदम
अंग्रेजी की वेबसाइट न्यूज 18 की एक रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय रेलवे की ओर से कर्मचारियों और पेंशनर्स की ओर से की गई शिकायतों के बाद यह कदम उठाया गया है. कर्मचारियों और पेंशनर्स ने अपनी शिकायतों में आरोप लगाया था कि उनका इलाज करने वाले डॉक्टर गंभीर या बड़ी बीमारी होने पर अपने पसंद वाले अस्पतालों में रेफर कर देते हैं. उनकी इस शिकायत के बाद रेलवे ने अपनी नीतियों में बदलाव करते हुए कर्मचारियों, पेंशनर्स और उनके आश्रितों के स्वास्थ्य की देखभाल के लिए यूनिक आइडेंटिफिकेशन कार्ड जारी करने का फैसला किया.
इलाज दवा सब फ्री
रिपोर्ट में कहा गया है कि अब किसी डॉक्टर के रेफर के बिना यूनिक आइडेंटिफिकेशन कार्ड के जरिए रेलवे के लाखों कर्मचारियों, पेंशनर्स और उनके आश्रिमों का बेहतरीन इलाज हो सकेगा. वे देश के 25 ए़म्स के अलावा पीजीआईएमईआर चंडीगढ़, जेआईपीएमईआर पुडुचेरी, निमहंस बेंगलुरु में आसानी से इलाज करा सकेंगे. इसके लिए किसी डॉक्टर को रेफर करने की जरूरत नहीं पड़ेगी. इस कार्ड के जरिए न केवल उन्हें बेहतर इलाज मिल सकेगा, बल्कि जरूरी दवाएं भी फ्री में उपलब्ध होगी.
रेलवे का नया नियम तत्काल प्रभाव से लागू
रेलवे बोर्ड के कार्यकारी निदेशक (ट्रांसफॉर्मेशन) प्रणव कुमार मलिक ने 2 सितंबर 2024 को यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड जारी करने के आदेश दे दिया है. सबसे बड़ी बात यह है कि रेलवे का यह फैसला तुरंत प्रभाव से लागू भी हो गया है. इस कार्ड को हेल्थ मैनेजमेंट इन्फॉर्मेशन सिस्टम (एचएमआईएस) के माध्यम से डिजीलॉकर में रखा जाएगा. यह कर्मचारियों-पेंशनर्स की प्रोफाइल पर भी उपलब्ध होगा.
किसी भी वैध पहचान से होगा इलाज
umid.digitalir.in पर जारी किए गए हैंडनोट्स के अनुसार, रेलवे के कर्मचारी, पेंशनर्स और उनके आश्रितों यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड के जरिए किसी भी वैध पहचान के जरिए इलाज मिल सकेगा.
- चिकित्सा कार्ड नंबर
- क्यूआर कोर्ड
- पीएफ अकाउंट नंबर
- पैन यानी स्थायी खाता नंबर
- पीपीओ नंबर
- रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर
यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड की विशेषता
- वेबसाइट या मोबाइल ऐप पर सेवाएं उपलब्ध होंगी.
- इंटरनेट के माध्यम से किसी जगह से आवेदन किया जा सकता है.
- रेलवे के कर्मचारियों, पेंशनर्स और उनके आश्रितों के लिए अलग-अलग स्मार्ट कार्ड जारी किया जाएगा.
- रेलवे के अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाओं के इस्तेमाल में आसानी और सुविधा मिलेगी.
- कियोस्क के माध्यम से ओपीडी स्लिपों का ऑटो-जेनरेशन सुविधा मिलेगी.
इसे भी पढ़ें: सुकन्या समृद्धि योजना में खोले हैं बेटी का खाता तो बचा लीजिए, वरना हो जाएगा बंद
ऐसे कर सकते हैं ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन
- यूनिक मेडिकल आइडेंटिफिकेशन कार्ड से इलाज कराने के लिए सबसे पहले आपको आधिकारिक वेबसाइट https://umid.digitalir.in/web/ पर विजिट करना होगा.
- इसके बाद आपको लॉगइन पर क्लिक करना होगा.
- क्लिक करते ही आप एक नए पेज पर चले जाएंगे.
- यहां पर रेलवे के कर्मचारियों को पीएफ नंबर और पेंशन को पीपीओ नंबर दर्ज करना होगा.
- इसके बाद उसका पासवर्ड भी डालना होगा.
- इसके बाद पैन नंबर और जन्मतिथि बताना होगा.
- इतना करने के बाद आपके सामने डिटेल में ब्योरा देने का ऑप्शन आ जाएगा.
- जरूरी जानकारी देने के बाद कैप्चा कोड डालकर लॉगइन या रजिस्टर वाले ऑप्शन पर क्लिक करना होगा.
इसे भी पढ़ें: डिपॉजिट्स घटने पर घमासान, बैंकों के निशाने पर म्यूचुअल फंड