सोना के कारोबार की होगी निगहबानी, 2025 से बदल जाएगा नियम

Gold Trading Rule: सोने के आभूषणों और कलाकृतियों पर हॉलमार्किंग की व्यवस्था 23 जून, 2021 को शुरू की गई थी. सरकार की पहल से देश में रजिस्टर्ड ज्वेलर्स की संख्या 34,647 से बढ़कर 1,94,039 हो गई है. वहीं, परख और हॉलमार्किंग केंद्रों की संख्या 945 से बढ़कर 1,622 हो गई.

By KumarVishwat Sen | November 20, 2024 2:19 PM
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Gold Trading Rule: बहुमूल्य पीली धातु सोने की खरीद-फरोख्त करने वालों को आने वाले समय में कारोबार करना थोड़ा मुश्किल होने वाला है. इसका कारण यह है कि सरकार देश में होने वाले सोने के कारोबार की निगहबानी करने की तैयारी में जुट गई है. खबर है कि सोने की शुद्धता को सुनिश्चित करने और इसके आयात-निर्यात पर निगरानी करने के लिए सरकार जनवरी 2025 से नियमों में बदलाव करने जा रही है. नियमों में बदलाव के लिए भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) और दूसरे संबंधित पक्षों के बीच आपसी सहमति बन गई है.

जनवरी 2025 में बदल जाएगी सोने की कारोबारी व्यवस्था

हिंदी के समाचार पत्र दैनिक हिंदुस्तान की वेबसाइट पर प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार, सोने की शुद्धता को सुनिश्चित करने के लिए सरकार सभी प्रकार के सोने की हॉलमार्किंग को अनिवार्य करने की तैयारी में जुट गई है. सरकार जनवरी 2025 में सोने के कारोबारी नियमों में बदलाव करने जा रही है. नियमों में बदलाव होने के बाद सोने का कारोबार करने वाले सर्राफा कारोबारी, जौहरी और सोना-चांदी के दुकानदारों की ओर से सोने की खरीद पर हॉलमार्क लगाना आवश्यक हो जाएगा.

हर प्रकार के सोने पर हॉलमार्किंग जरूरी

रिपोर्ट में कहा गया है कि अभी केवल ग्राहकों को बेचे जाने वाले सोने के गहनों, सिक्कों और दूसरी कलाकृतियों पर ही हॉलमार्किंग अनिवार्य है. सोने के आभषूणों, सिक्कों और कलाकृतियों पर हॉलमार्क होने का अर्थ यह है कि इस प्रकार के सोने की चीजें असली हैं. अब सरकार सोने की हर प्रकार की खरीद-फरोख्त में इसकी शुद्धता सुनिश्चित करना चाहती है. इसलिए वह सोने के आयात-निर्यात, सर्राफा और वायदा कारोबार, ज्वेलर्स और बुलियन कारोबार में भी हॉलमार्किंग अनिवार्य करने के पक्ष में दिखाई दे रही है.

सोने के कारोबार निगहबानी होगी आसान

रिपोर्ट में कहा गया है कि सरकार के इस कदम से सोने की निगहबानी आसान हो जाएगी. इससे जुड़े जानकारों का कहना है कि सरकार देश में आयात होने वाले सोने को मानक नियमों के दायरे में लाना चाहती है. इससे सोने में मिलावट रुकने के साथ ही इसकी तस्करी पर भी रोक लगेगी.

जून 2021 से शुरू हुई हॉलमार्किंग की व्यवस्था

समाचार एजेंसी पीटीआई की हिंदी शाखा भाषा की एक रिपोर्ट के अनुसार, सरकार ने 14 नवंबर 2024 को ही सोने के आभूषणों और सोने की कलाकृतियों की अनिवार्य हॉलमार्किंग के चौथे चरण में अतिरिक्त 18 जिलों को शामिल किया है. सोने के आभूषणों और कलाकृतियों पर हॉलमार्किंग की व्यवस्था 23 जून, 2021 को शुरू की गई थी. उसके बाद से अबतक 40 करोड़ से अधिक सोने के आभूषणों की विशिष्ट पहचान (आईडी) के साथ हॉलमार्किंग की गई है.

देश के 361 जिलों में हॉलमार्किंग की व्यवस्था प्रभावी

सरकारी की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि सोने के आभूषणों और कलाकृतियों पर हॉलमार्किंग का चौथा चरण 5 नवंबर 2024 से प्रभावी है. इस चौथे चरण में आंध्र प्रदेश, बिहार, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, केरल, ओडिशा, पुडुचेरी, राजस्थान, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के 18 जिलों को शामिल किया गया है. चौथे चरण के कार्यान्वयन के साथ अनिवार्य हॉलमार्किंग के अंतर्गत आने वाले जिलों की कुल संख्या अब 361 हो गई है.

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मोबाइल ऐप से जांच सकते हैं सोने की गुणवत्ता

सरकार की पहल से देश में रजिस्टर्ड ज्वेलर्स की संख्या 34,647 से बढ़कर 1,94,039 हो गई है. वहीं, परख और हॉलमार्किंग केंद्रों की संख्या 945 से बढ़कर 1,622 हो गई. सोने की खरीद करने वाले ग्राहक ‘बीआईएस केयर मोबाइल ऐप’ का उपयोग करके हॉलमार्क वाले सोने के आभूषणों की प्रामाणिकता को सत्यापित कर सकते हैं. उत्पाद की गुणवत्ता या बीआईएस के निशान के दुरुपयोग के बारे में शिकायत दर्ज कर सकते हैं.

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