Budget 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी 2025 को संसद में वित्त वर्ष 2025-26 के लिए सालाना बजट पेश करेंगी. संभावना यह जाहिर की जा रही है कि देश के लोगों की सेहत सुधारने के लिए सरकार स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए करीब 1 लाख करोड़ रुपये बजट में आवंटित कर सकती है. अनुमान लगाया जा रहा है कि सरकार प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना का विस्तार होने की वजह से इस साल के बजट में स्वास्थ्य सुविधाओं पर खर्च में बढ़ोतरी कर सकती है. मीडिया की रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि इस बार का स्वास्थ्य बजट 90 हजार करोड़ से बढ़कर 1 लाख करोड़ तक पहुंच सकता है.
आयुष्मान भारत योजना का बढ़ सकता है आवंटन
सरकार ने पिछले साल ही 70 साल से अधिक उम्र के सभी आयवर्ग के बुजुर्गों को प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के दायरे में लाने की घोषणा की है. ओडिशा भी इस योजना का हिस्सा बन चुका है. अनुमान लगाया जा रहा है कि आयुष्मान भारत योजना के लिए आवंटन में अच्छी-खासी वृद्धि की जा सकती है. चालू वित्त वर्ष के दौरान योजना के लिए आवंटन 6,800 करोड़ रुपये है, जिसमें कम से कम 20-25 फीसदी का इजाफा होगा.
कोरोना काल के बाद बढ़ा है स्वास्थ्य बजट
कोरोना काल के बाद सरकार ने स्वास्थ्य बजट में बढ़ोतरी की है, लेकिन यह अब भी यह सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के 1.6% ही है. सरकार का लक्ष्य इसे 2.5% तक ले जाने का है. वित्त वर्ष 2019-20 के दौरान स्वास्थ्य मंत्रालय को कुल 66 हजार करोड़ रुपये आवंटित हुए थे, जो अब 90 हजार करोड़ रुपये से अधिक हो चुका है.
अनुसंधान के खर्च में बढ़ोतरी की उम्मीद
स्वास्थ्य क्षेत्र में अनुसंधान के बजट में 15-20 फीसदी तक वृद्धि का अनुमान है, जो चालू वित्त वर्ष के दौरान 3300 करोड़ रुपये है. जिस प्रकार नई-नई बीमारियों की चुनौती बढ़ रही है, उसके मद्देनजर नए अनुसंधान और क्षमता निर्माण पर विशेष जोर दिए जाने की जरूरत महसूस की जा रही है. इसलिए स्वास्थ्य अनुसंधान विभाग को आवंटन बढ़ेगा.
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देश को टीबी मुक्त और सौ फीसदी टीकाकरण की तैयारी
सरकार देश को टीबी मुक्त बनाने, 100% टीकाकरण और सांस्थनिक प्रसव को बढ़ाने के लिए भी प्रयासरत है. इसके चलते राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन का विस्तार 2026 तक किया गया है. इसलिए तय समय के भीतर लक्ष्यों को हासिल करने के लिए इन कार्यक्रमों के लिए भी आवंटन बढ़ाया जा सकता है.
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