निर्यात पर कस्टम ड्यूटी बढ़ाने की तैयारी में भारत, आर्थिक मोर्चे पर चीन को लगेगा बड़ा झटका
India china face off, India China stand off: पूर्वी लद्दाख में सीमा पर तनाव के बीच भारत सरकार चीन से आयात होने वाले कई उत्पादों पर सीमा शुल्क (Custom Duty) लगाने पर विचार कर रही है. हालांकि अभी तक इसे अंतिम रूप नहीं दिया गया है. केंद्र सरकार का पूरा फोकस इस बात पर है कि अब निर्यात कम से कम किया जाए.
India china face off, India China stand off:पूर्वी लद्दाख में सीमा पर तनाव के बीच भारत सरकार चीन से आयात होने वाले कई उत्पादों पर सीमा शुल्क (Custom Duty) लगाने पर विचार कर रही है. हालांकि अभी तक इसे अंतिम रूप नहीं दिया गया है. केंद्र सरकार का पूरा फोकस इस बात पर है कि अब निर्यात कम से कम किया जाए. सूत्रों के मुताबिक, फिलहाल केंद्र सरकार चीन ने निर्यात होने वाले उत्पादों पर ही सीमा शुल्क बढाने के बारे में सोच रही है.
टीओई की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत के कुल आयात का लगभग 14 प्रतिशत चीन से आता है. अप्रैल 2019 से फरवरी 2020 के बीच भारत ने 62 डॉलर मूल्य के सामान का आयात किया है. जबकि पड़ोसी देश में निर्यात 15.5 बिलियन अमरीकी डॉलर था. चीन से आयात किए जाने वाले मुख्य घड़ियां, संगीत वाद्ययंत्र, खिलौने, खेल के सामान, फर्नीचर, गद्दे, प्लास्टिक, बिजली के उपकरण, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, रसायन, लोहा और इस्पात की वस्तुएं, उर्वरक, शामिल हैं.
रिपोर्ट के अनुसार भारत ने चीन और अन्य जगहों से लगभग 300 उत्पादों पर आयात शुल्क बढ़ाने की योजना बनाई है. रिपोर्ट के अप्रैल से योजना की समीक्षा की जा रही है. कहा गया है कि यह स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा देने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाल ही में घोषित आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत है. नए ड्यूटी स्ट्रक्चर को अगले तीन महीनों में धीरे-धीरे लागू किए जाने की संभावना है.
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मेक इन इंडिया’ कार्यक्रम को बढ़ावा
रिपोर्ट के अनुसार एक अधिकारी ने कहा कि हम किसी भी देश को निशाना नहीं बना रहे हैं, यह चीन जैसे देशों के साथ व्यापार घाटे को कम करने के तरीकों में से एक है. पीएम मोदी ने 2014 में सत्ता में आने के बाद से मोदी सरकार ने स्थानीय विनिर्माण को बढ़ावा देने के दावे किये हैं. सरकार हाल के वर्षों ‘मेक इन इंडिया’ कार्यक्रम को बढ़ावा दिया है और पिछले महीने एक आत्मनिर्भर भारत अभियान की घोषणा की है. भारत ने पहले ही फरवरी में इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं, खिलौनों और फर्नीचर जैसे सामानों के आयात पर कर बढ़ा दिया.
गौरतलब है कि चीन के खिलाफ अब सरकार ने सख्त कदम उठाने शुरू कर दिए हैं. इसकी शुरुआत भारतीय रेलवे ने की है, जिसकी एक सहयोगी कंपनी ने चीनी कंपनी से अपना 471 करोड़ रुपये का करार खत्म कर लिया है. बीएसएनएल को भी चीनी उत्पादों के इस्तेमाल करने से मना कर दिया गया है. गलवान घाटी में 20 सैनिकों के शहीद से होने से पूरे देश में चीन के खिलाफ काफी गुस्सा है और बायकॉट चीन का नारा हर जगह बुलंद हो रहा है.
Posted By: Utpal kant
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