जनवरी से जुलाई के बीच 5.5098 रुपये टूटी भारतीय मुद्रा, जानें, क्यों डॉलर के मुकाबले गिरता जा रहा रुपया
Rupee Falling: जनवरी से जुलाई 2022 के बीच 5.5098 रुपये टूटी भारतीय मुद्रा. भारतीय मुद्रा 31 दिसंबर 2014 से अब तक 25 फीसदी टूट चुका है. तब एक डॉलर का भाव 63.33 रुपये था, जो अब 80 रुपये के पार हो गया है. इसकी सबसे बड़ी वजह विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार से अपना पैसा निकालना है.
Rupee Falling: अंतर-बैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया लगातार गिरता जा रहा है. 1 जनवरी 2022 से 19 जुलाई 2022 के बीच डॉलर के मुकाबले भारतीय मुद्रा 5.5098 रुपये तक कमजोर हो चुकी है. मंगलवार (19 जुलाई) को रुपया अपने न्यूनतम स्तर पर आ गया. 1 जनवरी 2022 को डॉलर के मुकाबले रुपये का भाव 74.5082 था. 15 जनवरी को यह थोड़ा मजबूत हुआ था और 74.1515 रुपये प्रति डॉलर था.
जनवरी-फरवरी में इतना गिरा रुपया
जनवरी के अंत में यानी 31 जनवरी को रुपया गिरकर 75.043 के स्तर पर आ गया. 1 फरवरी को रुपया थोड़ा मजबूत होकर 74.5622 रुपये के स्तर पर आ गया. 15 फरवरी को यह 75.6813 रुपये और 28 फरवरी को 75.2087 रुपये के स्तर पर रहा.
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मार्च में रुपये की हालत और हुई पतली
मार्च में रुपये की हालत और पतली हो गयी. हालांकि, अंत में इसकी स्थिति में कुछ सुधार आया. 1 मार्च को रुपये का भाव प्रति डॉलर 75.3768 था, जो 8 मार्च को गिरकर 77.0606 रुपये हो गया. हालांकि, 31 मार्च को यह थोड़ा मजबूत होकर 75.8434 रुपये पर बंद हुआ.
अप्रैल-मई में गिरता रहा रुपया
अप्रैल के महीने में भी रुपये में गिरावट दर्ज की गयी. 1 अप्रैल को एक डॉलर की कीमत 75.9206 रुपये थी, जो 28 अप्रैल को गिरकर 76.7621 रुपये तक गिर गया. 1 मई को रुपया थोड़ा मजबूत हुआ और 76.5257 के स्तर पर रहा. 21 मई को रुपया अपने न्यूनतम स्तर 77.8383 रुपये पर आ गया.
1 जनवरी 2022 से 19 जुलाई 2022 तक रुपये की चाल | |
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1 जनवरी 2022 | 74.5082 |
15 जनवरी 2022 | 74.1515 |
31 जनवरी 2022 | 75.043 |
1 फरवरी 2022 | 74.5622 |
15 फरवरी 2022 | 75.6813 |
28 फरवरी 2022 | 75.2087 |
1 मार्च 2022 | 75.3768 |
8 मार्च 2022 | 77.0606 |
31 मार्च 2022 | 75.8434 |
1 अप्रैल 2022 | 75.9206 |
28 अप्रैल 2022 | 76.7621 |
1 मई 2022 | 76.5257 |
21 मई 2022 | 77.8383 |
1 जून 2022 | 77.593 |
13 जून 2022 | 78.1519 |
30 जून 2022 | 79.0743 |
1 जुलाई 2022 | 78.9482 |
18 जुलाई 2022 | 80.018 |
19 जुलाई 2022 | 80.0124 |
80 रुपये के पार पहुंच गयी एक डॉलर की कीमत
जून में देखें, तो रुपया थोड़ा मजबूत होकर खुला. 1 जून को 1 डॉलर की कीमत 77.593 रुपये रही. 13 जून को यह 78.1519 रुपये तक पहुंच गया, जबकि 30 जून को यह 79.0743 रुपये के स्तर पर रहा. 1 जुलाई को रुपया 78.9482 के स्तर पर खुला, जो 19 जुलाई को 80 रुपये के पार कर गया.
पहली बार रुपया 80 के पार
यह पहला मौका था, जब अमेरिकी मुद्रा के मजबूत बने रहने और कच्चे तेल की कीमतों में तेजी के बीच रुपया शुरुआती कारोबार में डॉलर के मुकाबले अब तक के अपने निम्नतम स्तर 80.05 रुपया प्रति डॉलर पर आ गया. अंतर-बैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 80 के भाव पर खुला, लेकिन थोड़ी ही देर में 80.05 के स्तर पर आ गया.
ब्रेंट क्रूड वायदा 0.35 फीसदी गिरा
यह पिछले बंद भाव की तुलना में 7 पैसे की कमजोरी को दर्शाता है. सोमवार को रुपया पहली बार 80 का स्तर छूने के बाद 79.98 के भाव पर बंद हुआ था. वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.35 प्रतिशत गिरकर 105.90 डॉलर प्रति बैरल पर रहा. शेयर बाजार से मिले आंकड़ों के मुताबिक, विदेशी संस्थागत निवेशकों ने सोमवार को 156.08 करोड़ रुपये मूल्य के शेयरों की शुद्ध खरीदारी की थी.
इस वजह से रसातल में जा रहा है रुपया
भारतीय मुद्रा 31 दिसंबर 2014 से अब तक 25 फीसदी टूट चुका है. तब एक डॉलर का भाव 63.33 रुपये था, जो अब 80 रुपये के पार हो गया है. इसकी सबसे बड़ी वजह विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार से अपना पैसा निकालना है. संस्थागत विदेशी निवेशक अब तक 30 अरब डॉलर भारतीय बाजार से निकाल चुके हैं. इतना ही नहीं, पेट्रोलियम और कमोडिटीज की कीमत में उछाल की वजह से चालू खाता घाटा की चिंता बढ़ गयी है. यही वजह है कि रुपया लगातार रसातल में जा रहा है.
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