Indian Labourer In Kuwait:भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 21 दिसंबर 2024 को कुवैत के अमीर शेख मेशल अल-अहमद अल-जबर अल-सबाह के निमंत्रण पर दो दिवसीय आधिकारिक यात्रा पर कुवैत पहुंचे. इस यात्रा ने भारत और कुवैत के बीच ऐतिहासिक संबंधों को एक नई मजबूती दी.अब सवाल यह उठता है कि कुवैत में भारतीय मजदूर कितनी आमदनी करते हैं? आइए जानते हैं
कुवैत में भारतीय मजदूरों की कमाई
कुवैत में काम करने वाले दिहाड़ी मजदूरों के लिए न्यूनतम वेतन 100 कुवैती दीनार (लगभग 27,200 भारतीय रुपये) तय है।इनमें से प्रतिदिन 3.3 कुवैती दीनार मजदूरी दी जाती है. कुवैत में भारतीय प्रवासी मजदूरों की बड़ी संख्या है, जो वहां विभिन्न क्षेत्रों में योगदान दे रहे हैं.
43 वर्षों के बाद कुवैत की यात्रा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री
प्रधानमंत्री मोदी 43 वर्षों के अंतराल के बाद कुवैत की यात्रा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री बने.इससे पहले 1981 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने कुवैत का दौरा किया था. कुवैत पहुंचने पर पीएम मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया गया. इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने कहा, “भारत और कुवैत के बीच ऐतिहासिक संबंध हैं, जिन्हें पीढ़ियों से पोषित किया गया है. दोनों देश व्यापार, ऊर्जा और पश्चिम एशिया क्षेत्र में शांति और स्थिरता के साझा हित रखते हैं.”
क्षेत्रीय घटनाक्रम के बीच कुवैत यात्रा का महत्व
प्रधानमंत्री की यह यात्रा ऐसे समय में हो रही है जब पश्चिम एशिया में कई महत्वपूर्ण घटनाक्रम हो रहे हैं. सीरिया में बशर अल-असद के शासन के पतन के दो सप्ताह बाद और गाजा में इजरायल-हमास के बीच संभावित युद्धविराम समझौते के संकेतों के बीच यह दौरा हुआ है. इस यात्रा का उद्देश्य भारत-कुवैत संबंधों को और गहरा करना और पश्चिम एशिया में शांति व स्थिरता की दिशा में सहयोग बढ़ाना है.
‘हाला मोदी’ कार्यक्रम में भारतीय प्रवासियों से मुलाकात
प्रधानमंत्री मोदी ने कुवैत के शेख साद अल अब्दुल्ला इंडोर स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में भारतीय समुदाय के लिए आयोजित कार्यक्रम ‘हाला मोदी’ को संबोधित किया.इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में भारतीय प्रवासी शामिल हुए,जिन्होंने भारतीय ध्वज लहराकर अपने उत्साह का प्रदर्शन किया. केरल के एक प्रवासी ने कहा, “यहां रहकर हम बहुत सम्मानित महसूस कर रहे हैं और प्रधानमंत्री मोदी से मिलने का मौका पाकर आभारी हैं”
भविष्य की साझेदारी की दिशा में बातचीत
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कुवैती नेतृत्व के साथ उनकी बातचीत दोनों देशों के बीच भविष्य की साझेदारी की रूपरेखा तैयार करेगी. भारत और कुवैत के बीच व्यापार और ऊर्जा के क्षेत्र में गहरे संबंध हैं और इस यात्रा से दोनों देशों के बीच संबंधों को और मजबूत करने की उम्मीद है. कुवैत न केवल भारत का प्रमुख एनर्जी सप्लायर है. बल्कि लाखों भारतीय प्रवासियों का घर भी है. यह यात्रा दोनों देशों के बीच आर्थिक और सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करने के साथ-साथ क्षेत्रीय स्थिरता में योगदान देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगी.
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