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Loan Moratorium : 29 फरवरी से बकाया कर्ज की गणना करेगी सरकार, चेक करके जानिए कितना मिलेगा कैशबैक

Ex-gratia relief scheme/Interest Waiver on Loan Moratorium : वित्त मंत्रालय ने कहा है कि ‘चक्रवृद्धि और साधारण ब्याज के बीच अंतर के लिए अनुग्रह राहत भुगतान योजना (Ex-gratia relief scheme) के तहत 29 फरवरी को बकाया ऋण को संदर्भ राशि माना जाएगा. इस अंतर की गणना इसी बकाया राशि के आधार पर की जाएगी. वित्त मंत्रालय ने बुधवार को इस बारे एफएक्यू (बार-बार पूछे जाने वाले सवाल-FAQ) जारी किये.

Ex-gratia relief scheme/Interest Waiver on Loan Moratorium : वित्त मंत्रालय ने कहा है कि ‘चक्रवृद्धि और साधारण ब्याज के बीच अंतर के लिए अनुग्रह राहत भुगतान योजना (Ex-gratia relief scheme) के तहत 29 फरवरी को बकाया ऋण को संदर्भ राशि माना जाएगा. इस अंतर की गणना इसी बकाया राशि के आधार पर की जाएगी. वित्त मंत्रालय ने बुधवार को इस बारे एफएक्यू (बार-बार पूछे जाने वाले सवाल-FAQ) जारी किये.

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने सभी कर्जदाता संस्थानों से मंगलवार को कहा था कि वे दो करोड़ रुपये तक के कर्ज के लिए हाल ही में घोषित ब्याज पर ब्याज की माफी योजना को लागू करें. इस योजना के तहत दो करोड़ रुपये तक के कर्ज पर ब्याज के ऊपर लगने वाला ब्याज एक मार्च 2020 से छह महीने के लिए माफ किया जाएगा.

सरकार ने पिछले शुक्रवार को पात्र ऋण खातों के लिए चक्रवृद्धि ब्याज (Compound Interest) और साधारण ब्याज (Simple interest) के बीच के अंतर के भुगतान को लेकर 6 माह के लिए अनुग्रह या अनुदान की घोषणा की थी. सरकार ने सभी बैंकों को 5 नवंबर तक चक्रवृद्धि ब्याज और साधारण ब्याज के अंतर को कर्जदारों के खाते में जमा करने के लिए कहा था.

इस प्रकार के लोन पर मिलेगा कैशबैक

वित्त मंत्रालय द्वारा योजना पर जारी एफएक्यू में कहा गया है कि इसके तहत एमएसएमई ऋण (MSME loan), शिक्षा ऋण (Education loan), आवास ऋण (Home loan), टिकाऊ उपभोक्ता ऋण (Durable consumer loan), क्रेडिट कार्ड बकाया (Credit card balance), वाहन ऋण (Auto loan), पेशेवरों को व्यक्तिगत ऋण (Personal loans to professionals) और उपभोग ऋण (Consumption loan) पर राहत दी जाएगी. इसमें कहा गया है कि इस योजना का लाभ ऐसे ऋण खातों पर मिलेगा जिनमें बकाया दो करोड़ रुपये से अधिक का नहीं होगा. इसमें सभी ऋण संस्थानों से लिया गया ऋण शामिल होगा. इस तरह के ऋण खाते 29 फरवरी, 2020 की संदर्भ तिथि तक ऋणदाता संस्थानों के बही-खातों में मानक होने चाहिए.

184 दिन की अवधि को माना जाएगा रिफंड के लिए मानक

वित्त मंत्रालय ने कहा कि रिफंड के लिए एक मार्च से 21 अगस्त, 2020 यानी छह माह या 184 दिन की अवधि को गिना जाएगा. यह अनुग्रह राशि पात्र कर्जदारों के खातों में स्थानांतरित की जाएगी. इसके लिए आवेदन करने की जरूरत नहीं होगी. योजना के तहत ऋणदाता संस्थानों को चक्रवृद्धि ब्याज और साधारण ब्याज का अंतर पात्र ऋणदाताओं के खातों में डालना होगा. रिजर्व बैक द्वारा 27 मार्च, 2020 को घोषित ऋण की किस्त के भुगतान में छूट का आंशिक लाभ या पूर्ण लाभ सभी कर्जदारों को इस योजना का लाभ मिलेगा. योजना का लाभ ऐसे उपभोक्ताओं को भी मिलेगा, जिन्होंने कर्ज की किस्त के भुगतान पर छूट की योजना का लाभ नहीं लिया है.

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Posted By : Vishwat Sen

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