Data Protection Bill: नये पर्सनल डाटा प्रोटेक्शन बिल में क्या होगा खास ? सरकार इस बात पर कर रही है विचार
Data Protection Bill: खबरों की मानें तो बाद में डिजिटाइज किये गये किसी भी डेटा को कवर करने के लिए सामाधान निकाला जाएगा. जन्म प्रमाण पत्र जो पुराने हैं. इनका रिकॉर्ड फिजीकली रखा जाएगा. आने वाले समय में इसे भी डिजीटली किया जाएगा.
Data Protection Bill: केंद्र सरकार ने पर्सनल डाटा प्रोटेक्शन बिल इस महीने के शुरू में वापस ले लिया गया है. इस बिल की बात करें तो इसपर संसद की संयुक्त समिति ने 81 संशोधन प्रस्ताव दिये गये थे जिसके बाद सरकार ने इसे वापस लेना ही बेहतर समझा. इसके बाद मामले को लेकर ताजा अपडेट आया है. बताया जा रहा है कि इस बिल के तहत अब केवल लोगों का डिजिटल डेटा को कवर किया जाएगा. कागज पर रिकॉर्ड डाटा कवर नहीं किया जाएगा. डेटा संरक्षण विधेयक लोकसभा में वापस लाया जाएगा.
इस संबंध में अंग्रेजी वेबसाइट हिंदुस्तान टाइम्स ने खबर प्रकाशित की है. खबर के अनुसार मामले को लेकर इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में आंतरिक चर्चा हुई जिसमें डिजिटल और गैर-डिजिटल डेटा के बारे में बात हुई. बताया जा रहा है कि सरकार अभी भी संवेदनशील व्यक्तिगत डेटा की सुरक्षा सुनिश्चित करने पर विशेष ध्यान देने पर विचार कर रही है. दोनों डाटा पर चर्चा हो रही है.
डेटा को कवर करने के लिए सामाधान निकाला जाएगा
खबरों की मानें तो बाद में डिजिटाइज किये गये किसी भी डेटा को कवर करने के लिए सामाधान निकाला जाएगा. जन्म प्रमाण पत्र जो पुराने हैं. इनका रिकॉर्ड फिजीकली रखा जाएगा. आने वाले समय में इसे भी डिजीटली किया जाएगा. सभी प्रकार के व्यक्तिगत डेटा को बिल के तहत संरक्षित किया जाएगा. दिसंबर 2021 में संसद की संयुक्त समिति द्वारा पेश की गयी रिपोर्ट की तुलना में विधेयक एक छोटा नजर आयेगा. ऐसा विचार किया जा रहा है कि बिल को कम जटिल और अधिक आसानी से सुलभ हो.
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नये बिल में समाधान करना होगा
एक अधिकारी ने कहा कि समस्याएं अभी भी बनी हुई है. नये बिल में इसका समाधान करना होगा. विधेयक को अंतिम रूप देने के बाद इसे सार्वजनिक परामर्श के लिए रखा जाएगा. उन्होंने कहा कि अभी नागरिकों की निजता को प्राथमिकता देने की जरूरत है. संवेदनशील व्यक्तिगत डेटा का सावधानी से निपटना किया जाएगा. सरकार इसकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठा रही है.
परिस्थितियों के मद्देनजर नया विधेयक का प्रस्ताव
यहां चर्चा कर दें कि केंद्र सरकार ने 11 दिसंबर 2019 को पर्सनल डाटा प्रोटेक्शन बिल पेश करने का काम किया. इसके बाद 3 अगस्त 2022 की सप्लीमेंटरी बिजनेस लिस्ट में इसे वापस लिए जाने वाले बिल में शामिल किया गया. इसमे लिखा गया है कि केंद्रीय मंत्री अश्वनि वैष्णव इस बिल को वापस लेने के लिए प्रस्ताव रखने का काम करेंगे. इसके यह भी लिखा गया है कि पर्सनल डाटा प्रोटेक्शन बिल 2019 पर संसद की संयुक्त समिति में विस्तार से विचार विमर्श किया है. परिस्थितियों को देखते हुए व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधेयक 2019 को वापस लेने और एक नया विधेयक पेश करने का प्रस्ताव है.
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