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23 पीएसयू में अपनी हिस्सेदारी बेचेगी मोदी सरकार: निर्मला सीतारमण

केंद्र सरकार सार्वजनिक क्षेत्र की 23 कंपनियों की विनिवेश प्रक्रिया पूरा करने के के लिए तेजी से कार्य कर रही है. इन कपंनियों की हिस्सेदारी बेचने के लिए कैबिनेट से मंजूरी मिल चुकी है. वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि जिन 23 कंपनियों के हिस्सेदारी बेचने के लिए कैबिनेट से मंजूरी मिल चुकी है, उसके लिए आगे की प्रक्रिया की जा रही है. साथ ही उन्होंने बताया कि जल्द ही वो स्मॉल फाइनेंश कंपनियों और गैर बैंकिग वित्त कंपनियों के साथ बैठक करेंगी और उनके द्वारा दिये जा रहे कर्ज की समीक्षा करेंगी.

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 28, 2020 12:50 PM
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केंद्र सरकार सार्वजनिक क्षेत्र की 23 कंपनियों की विनिवेश प्रक्रिया पूरा करने के के लिए तेजी से कार्य कर रही है. इन कपंनियों की हिस्सेदारी बेचने के लिए कैबिनेट से मंजूरी मिल चुकी है. वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि जिन 23 कंपनियों के हिस्सेदारी बेचने के लिए कैबिनेट से मंजूरी मिल चुकी है, उसके लिए आगे की प्रक्रिया की जा रही है. साथ ही उन्होंने बताया कि जल्द ही वो स्मॉल फाइनेंश कंपनियों और गैर बैंकिग वित्त कंपनियों के साथ बैठक करेंगी और उनके द्वारा दिये जा रहे कर्ज की समीक्षा करेंगी.

वित्त मंत्री ने बताया कि जिन पीएसयू की हिस्सेदारी बेचने के लिए कैबिनेट की मंजूरी मिल गयी है, उनकी हिस्सेदारी सही समय आने पर सरकार सही कीमत पर बेचेगी. सरकार की मंशा है कि कम से कम इन कंपनियों में विनिवेश किया जाए. बता दें कि इस वित्त वर्ष 2020-21 के लिए मोदी सरकार ने 2.10 लाख करोड़ रुपये का विनिवेश लक्ष्य रखा है. इसमें से 1.20 लाख करोड़ रुपये पीएसयू के विनिवेश से आने हैं और 90 हजार करोड़ रुपये वित्तीय संस्थानों में हिस्सेदारी बेचकर जुटाया जायेगा. बताया जा रहा है कि सरकार ने आत्मनिर्भर भारत पैकेज के तहत 11 सेक्टरों को निजी कंपनियों के लिए खोलने का निर्णय लिया है.

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आत्मनिर्भर भारत पैकेज के तहत सरकार ने कई क्षेत्रों को निजी भागीदारी के लिए खोलने का एलान किया था. निर्मला सीतारमण ने कहा कि अभी इस बारे में अभी आखिरी फैसला नहीं हुआ है इस लिए वे अभी कुछ बोल नहीं सकती. स्ट्रैटजिक सेक्टरों में निजी कंपनियों को आने की अनुमति मिलेगी. लेकिन उनमें सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों की संख्या अधिकतम चार ही रहेगी. वित्त मंत्री ने कहा कि वह पीएसयू को कंसोलिडेट करेंगी और साथ ही उनका कामकाज का भी विस्तार किया जाएगा . हिस्सेदारी बेचने के बारे में मंत्री ने कहा कि सरकार सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों में उस समय विनिवेश करेगी जब सरकार को सही मूल्य मिलेगा.

बता दें कि हाल ही में रिपोर्ट में दावा किया गया था कि केंद्र सरकार पांच साल के लिए निजीकरण का प्लान तैयार कर रही है. प्लान को तैयार करने जिम्मा निति आयोग को दिया गया है. वित्त मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव के राजराजन ने पिछले दिनों बताया था कि नीति आयोग ने एक लाख करोड़ रुपये जुटाने का प्लान तैयार किया है.

Posted By: Pawan Singh

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