क्या 12 अगस्त के बाद देश में चलेंगी ट्रेन ?, अनलॉक 3.0 की गाइडलाइन में रेलवे को लेकर नहीं की गयी बात
25 जून 2020 को रेलवे ने 12 अगस्त तक सभी सामान्य रेल सेवाओं को देश में कोविड-19 के बढ़ते मामलों की वजह से कैंसिल कर दिया था. हालांकि, इस दौरान स्पेशल ट्रेनों का परिचालन जारी रखने की बात कही गयी थी. रेलवे की ओर से जारी आदेश में कहा गया था कि 12 अगस्त तक सभी सामान्य रेल सेवाएं बंद रहेंगी. हालांकि, इस दौरान स्पेशल ट्रेनों का परिचालन पहले की तरह जारी रहेगा. रेलवे की ओर से जिन ट्रेनों के परिचालन पर रोक लगायी गयी है, उनमें मेल ट्रेन, एक्सप्रेस, पैसेंजर ट्रेन, लोकल ट्रेन, ईएमयू और डीएमयू शामिल हैं.
IRCTC/Indian Railways : कोविड-19 महामारी के बीच सरकार ने बुधवार को अनलॉक 3.0 के लिए गाइडलाइन जारी किया है. गृह मंत्रालय की ओर से जारी की गयी गाइडलाइन में स्कूल-कॉलेज, मॉल, सिनेमाघर, मेट्रो और घरेलू-अंतरराष्ट्रीय विमान सेवाओं का जिक्र तो है, लेकिन रेलगाड़ियों के परिचालन को लेकर किसी प्रकार की बात नहीं की गयी है. इस बीच, सवाल यह भी पैदा होता है कि क्या आगामी 12 अगस्त के बाद भारतीय रेलवे ट्रेनों का परिचालन शुरू करेगा.
इसका कारण यह है कि बीते 26 जून को रेलवे ने आगामी 12 अगस्त तक के लिए सामान्य तरीके से परिचालित होने वाली सभी ट्रेनों की आवाजाही पर रोक लगा दी थी. इसके साथ ही, आईआरसीटीसी ने 1 जुलाई से 12 अगस्त 2020 तक की यात्रा के लिए बुक कराए गए टिकटों को कैंसिल कर दिया था और उनके पूरे पैसे रिफंड कर दिये थे.
आपको बता दें कि 25 जून 2020 को रेलवे ने 12 अगस्त तक सभी सामान्य रेल सेवाओं को देश में कोविड-19 के बढ़ते मामलों की वजह से कैंसिल कर दिया था. हालांकि, इस दौरान स्पेशल ट्रेनों का परिचालन जारी रखने की बात कही गयी थी. रेलवे की ओर से जारी आदेश में कहा गया था कि 12 अगस्त तक सभी सामान्य रेल सेवाएं बंद रहेंगी. हालांकि, इस दौरान स्पेशल ट्रेनों का परिचालन पहले की तरह जारी रहेगा. रेलवे की ओर से जिन ट्रेनों के परिचालन पर रोक लगायी गयी है, उनमें मेल ट्रेन, एक्सप्रेस, पैसेंजर ट्रेन, लोकल ट्रेन, ईएमयू और डीएमयू शामिल हैं.
उधर, 29 जुलाई को मीडिया में आ रही खबरों के अनुसार, देश में सामान्य तरीके से परिचालित होने वाली करीब 12,500 ट्रेनों के पहिए बीते 25 मार्च के पहले से ही थमे हुए हैं. इसका कारण यह है कि देश में कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को थामने के लिए सरकार की ओर से 25 मार्च से लॉकडाउन लागू कर दिया गया था. भारतीय रेलवे ने लॉकडाउन लागू होने के पहले से ही अपने ट्रेनों के पहियों को रोक दिया था.
देशे में रोजाना परिचालित होने वाली करीब 12,500 ट्रेनों के पहियों में अचानक ब्रेक लगा दिए जाने की वजह से रेलवे को वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान करीब 35,000 करोड़ रुपये का नुकसान है. रेलवे का यह नुकसान अभी हाल में ही में सरकार की ओर से घोषित 20 लाख करोड़ रुपये के आर्थिक पैकेज में से एमएसएमई के लिए सुरक्षित 30,000 करोड़ रुपये से करीब 5,000 करोड़ रुपये अधिक हैं.
ऐसे में, सवाल उठना यह लाजिमी है कि जब सरकार देश की आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने के लिए अनलॉक 3.0 के लिए गाइडलाइन जारी कर सकती है, तो एमएसएमई के लिए सुरक्षित राशि से अधिक घाटा उठाने वाले रेलवे की ट्रेनों के परिचालन की अनुमति कब दी जाएगी?
Posted By : Vishwat Sen
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