Onion Price Hike: आंख से आंसू निकालने लगी प्याज की कीमत, सरकार ने राहत के लिए बनाया बड़ा प्लान
Onion Price Hike: दशहरा खत्म होते ही प्याज की कीमत ने लोगों के आंख से आंसू निकालना शुरू कर दिया है. पिछले एक सप्ताह में प्याज की खुदरा कीमत में 57 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. खुदरा बाजार में प्याज की कीमत 50 रुपये किलो के पार चली गयी है.
Onion Price Hike: लोगों की परेशानी को देखते हुए सरकार के द्वारा बड़ी राहत देने की तैयारी की जा रही है. सरकार अपने बफर स्टॉक से खुदरा बाजारों में 25 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर प्याज की बिक्री का फैसला किया है. सरकार का मानना है कि कम कीमत पर प्याज बेचने से बाजार में कीमत कम होगी.
Onion Price Hike: उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, प्याज की अखिल भारतीय औसत खुदरा कीमत शुक्रवार को बढ़कर 47 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई, जो एक साल पहले समान अवधि में 30 रुपये प्रति किलोग्राम थी. आंकड़ों के अनुसार, राष्ट्रीय राजधानी में शुक्रवार को प्याज की खुदरा कीमत 40 रुपये प्रति किलोग्राम थी, जबकि एक साल पहले समान अवधि में यह 30 रुपये प्रति किलोग्राम थी.
उपभोक्ता मामलों के सचिव रोहित कुमार सिंह ने कहा कि हम अगस्त के मध्य से ‘बफर स्टॉक’ से प्याज दे रहे हैं और कीमतों में और वृद्धि को रोकने तथा उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए हम खुदरा बिक्री बढ़ा रहे हैं. मंत्रालय के अनुसार, जिन राज्यों में कीमतों में तेज वृद्धि हो रही है वहां थोक और खुदरा दोनों बाजारों में ‘बफर स्टॉक’ से प्याज दिया जा रहा है. अगस्त के मध्य से 22 राज्यों में विभिन्न स्थानों पर ‘बफर स्टॉक’ से करीब 1.7 लाख टन प्याज दिया गया.
Also Read: भारत के विदेशी मुद्रा भंडार को लगा तेज झटका, जानें RBI के पास रिजर्व में अब बचा कितना डॉलरखुदरा बाजारों में, ‘बफर स्टॉक’ के प्याज को दो सहकारी निकायों भारतीय राष्ट्रीय उपभोक्ता सहकारी संघ (एनसीसीएफ) और भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन महासंघ (एनएएफईडी) की दुकानों तथा वाहनों के जरिए 25 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर बेचा जा रहा है. दिल्ली में भी ‘बफर स्टॉक’ का प्याज इसी रियायती दर पर बेचा जा रहा है. मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि मौसम संबंधी कारणों से खरीफ प्याज की बुआई में देरी के कारण कम फसल हुई और फसल की आवक में दरी हुई.
अधिकारी ने बताया कि ताजा खरीफ प्याज की आवक अब तक शुरू हो जानी चाहिए थी लेकिन ऐसा नहीं हुआ. भंडारित रबी प्याज खत्म होने और खरीफ प्याज के आगमन में देरी के कारण आपूर्ति की स्थिति खराब है, जिसके परिणामस्वरूप थोक और खुदरा दोनों बाजारों में कीमतें बढ़ रही हैं. उन्होंने कहा कि सरकार ने चालू वर्ष 2023-24 में प्याज के लिए ‘बफर स्टॉक’ को दोगुना किया है. इससे घरेलू उपलब्धता में सुधार होगा और आने वाले दिनों में बढ़ती कीमतों पर अंकुश लगेगा.
वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने एनसीसीएफ और एनएएफईडी के जरिए पांच लाख टन का ‘बफर स्टॉक’ बनाए रखा है और आने वाले दिनों में अतिरिक्त दो लाख टन प्याज खरीदने की योजना है.
(भाषा इनपुट के साथ)
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