Account in Post Office: कोरोना काल में डाकघर में खूब खुले खाते, जानिये कैसे करें पोस्टऑफिस में बचत

डाकघर की सभी योजनाओं को केंद्र सरकार संचालित करती है. निवेशकों के पैसों को लौटाने की गारंटी भी केंद्र सरकार की है. ऐसे में अगर किसी वजह से आपका पैसा डूबता है, तो सरकार के ऊपर आपके पूरे पैसे को लेकर देनदारी बनती है,

By Prabhat Khabar News Desk | January 6, 2021 1:52 PM

बिपिन सिंह‍ : समय के साथ-साथ कई चीजें बदल जाती हैं, लेकिन आधुनिकता के इस दौर में डाक सेवा का महत्व आज भी अपनी कायम है. महत्वपूर्ण दस्तावेज हों या रुपये जमा करने की बात, हर जगह डाकघर को अब भी एक भरोसे का प्रतीक समझा जाता है. कोरोना काल में लॉकडाउन के दौरान जहां एक तरफ औद्योगिक और व्यापारिक गतिविधियां एक तरह से थम सी गयी थीं, वहीं दूसरी ओर डाकघर के प्रति लोगों का भरोसा ही था कि मुश्किल समय में भी लोगों ने डाकघर मेंं खूब खाते खुलवाये.

कोरोना में दुमका में सबसे ज्यादा खाताधाारक जुड़े : गांव के लोगों को जब भी पैसे की जरूरत हुई तो डाकघर खुद लोगों के पास पहुंचा और उनका खाता मौके पर ही खोला गया. कोरोना काल में संताल परगना के दुमका में सबसे ज्यादा करीब 73 हजार नये खाताधाारक पोस्टऑफिस से जुड़े. हालांकि रांची, सिंहभूम और धनबाद डिवीजन में भी बड़े पैमाने पर लोगों ने अपना भरोसा डाकघर पर जताया.

पैसों की गारंटी केंद्र सरकार की : डाकघर की सभी योजनाओं को केंद्र सरकार संचालित करती है. निवेशकों के पैसों को लौटाने की गारंटी भी केंद्र सरकार की है. ऐसे में अगर किसी वजह से आपका पैसा डूबता है, तो सरकार के ऊपर आपके पूरे पैसे को लेकर देनदारी बनती है, जबकि बैंकों का हाल ऐसा नहीं है. अगर कोई बैंक किसी कारण से दिवालिया हो जाता है तो आपने चाहे करोड़ों रुपये निवेश किया हो, गारंटी के तौर पर अकाउंट होल्डर्स को डिपॉजिट इंश्योरेंस के महज पांच लाख रुपये ही मिलेंगे.

मासिक आय योजना : निवेश करने पर ये योजना आपको मासिक आय की गारंटी देती है. कोई भी व्यक्ति अकेले या संयुक्त रूप से खाता खोल सकता है. 10 साल से कम उम्र का नाबालिग भी निवेश कर सकता है.

पोस्ट ऑफिस रेकरिंग डिपॉजिट : यहां ब्याज दर हर तीन महीने में बदलेगी और योजना की निवेश अवधि पांच वर्ष तक की है. पांच साल के लिए किये गये निवेश पर टैक्स लाभ है.

राज्य में 1.27 करोड़ पोस्टल अकाउंट : लोगों के बीच डाकघर के प्रति विश्वास बैंकों से कहीं ज्यादा है. मार्च 2016 के दौरान जहां राज्य में करीब 1 करोड़ 7 लाख लोग पोस्टऑफिस में किसी न किसी निवेश संबंधित सेवाओं के साथ जुड़े थे. वह संख्या मार्च 2019 तक 1 करोड़ 25 लाख हो गयी थी. जबकि हाल के आंकड़ों में यह संख्या 1, 27, 27, 346 हो चुकी है. इसमें अकेले बचत खाता की संख्या 45 लाख से ज्यादा है.

निवेश व बचत योजनाएं : डाकघर में कई सारी बचत योजनाएं चलती हैं. इन योजनाओं में निवेश करके आप अपना भविष्य सुरक्षित कर सकते हैं. वैसे भी इन्हें निवेश के लिहाज से सुरक्षित भी माना जाता है. यहां चलायी जा रही अधिकतर योजनाओं के लिए भारतीय डाक विभाग यानी इंडिया पोस्ट पेमेंट बैंक पर लोगों का भरोसा काफी ज्यादा है.

टैक्स में भी मददगार : पोस्ट ऑफिस के निवेश में कई बचत योजनाएं शामिल हैं जो उच्च ब्याज दर के साथ-साथ टैक्स लाभ भी प्रदान करती हैं. सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि भारत सरकार की गारंटी है कि इन सभी योजनाओं में आयकर धारा 80 सी के तहत टैक्स छूट है, यानी 1,50,000 रुपये तक के निवेश पर टैक्स नहीं देना होगा.

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निवेश के लिहाज से प्रमुख योजनाएं : पब्लिक प्रोविडेंट फंड, सुकन्या समृद्धि योजना, नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट, 5 साल के लिए पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट और सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम जैसी योजनाएं हैं. इन योजनाओं पर मिलनेवाली ब्याज दरों की समीक्षा हर तीन महीनों में सरकार द्वारा की जाती है.

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Posted by: Pritish Sahay

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