रांची : झारखंड की वर्तमान सरकार पर आपत्तिजनक टिप्पणी करके एक बार फिर विवादों के घेरे में आये प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष रघुवर दास की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. उनके कार्यकाल में उद्योगपतियों को आकर्षित करने के लिए आयोजित मोमेंटम झारखंड में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए झारखंड हाइकोर्ट में एक बार फिर से जनहित याचिका दायर हुई है.
झारखंड में निवेशकों को बुलाने और बड़े पैमाने पर रोजगार का सृजन करने के उद्देश्य से वर्ष 2017 में रघुवर दास के नेतृत्व वाली तत्कालीन भाजपा सरकार ने मोमेंटम झारखंड का आयोजन किया गया था. इसी मामले में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए एडवोकेट राजीव कुमार ने झारखंड हाइकोर्ट में में जनहित याचिका दाखिल की है.
इसके पहले भी एडवोकेट राजीव कुमार ने हाइकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की थी, लेकिन तब कोर्ट ने उनसे एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) में जाने के लिए कहा था. राजीव कुमार एसीबी पहुंचे और पूरे मामले की जानकारी देते हुए तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास के खिलाफ कार्रवाई की मांग की. शिकायत के एक साल बीत जाने के बावजूद जब कोई कार्रवाई नहीं हुई, तो याचिकाकर्ता ने एक बार फिर झारखंड हाइकोर्ट का रुख किया है.
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याचिकाकर्ता ने भाजपा के सीनियर लीडर और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास पर आरोप लगाया है कि उन्होंने अधिकारियों के साथ मिलकर मोमेंटम झारखंड के नाम पर बड़े पैमाने पर गड़बड़ियां कीं. प्रार्थी का आरोप है कि मोमेंटम झारखंड के आयोजन पर झारखंड सरकार ने 100 करोड़ रुपये खर्च कर दिये, लेकिन उसके अनुरूप राज्य में निवेश नहीं आ पाया. इस आयोजन में तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास के करीबी लोगों को काफी फायदा हुआ.
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Posted By : Mithilesh Jha
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