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जुलाई में जाफना से भारत की उड़ान दोबारा शुरू करेगा श्रीलंका, पर्यटन और विदेशी मुद्रा भंडार बढ़ेगा

कोरोना महामारी के दौर में श्रीलंका का पर्यटन उद्योग बुरी तरह से प्रभावित हुआ, जिसकी वजह से उसके विदेशी मुद्रा भंडार पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 20, 2022 12:35 PM
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कोलंबो : लंबे समय से आर्थिक संकट का सामना कर रहे श्रीलंका ने जाफना से श्रीलंका तक की विमान सेवा फिर से बहाल करने का फैसला किया है. संभावना यह है कि श्रीलंका आगामी जुलाई महीने में जाफना से भारत की उड़ान दोबारा शुरू करेगा. श्रीलंका के नागर विमानन मंत्री निमल सिरिपाला डी सिल्वा ने कहा कि इस कदम से देश के पर्यटन उद्योग को बढ़ावा मिलेगा. इसके साथ ही, आर्थिक संकट से उबरने के लिए विदेशी मुद्रा भंडार को बढ़ाने में भी मदद मिलेगी.

कोरोना की वजह से पर्यटन उद्योग पर पड़ा गहरा प्रभाव

बता दें कि कोरोना महामारी के दौर में श्रीलंका का पर्यटन उद्योग बुरी तरह से प्रभावित हुआ, जिसकी वजह से उसके विदेशी मुद्रा भंडार पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा. आलम यह कि विदेशी मुद्रा भंडार में कमी आने की वजह से उसके पास आवश्यक वस्तुओं के आयात तक की मुद्रा नहीं बची. इसके साथ ही, विदेशी मुद्रा भंडार में कमी आने की वजह से महंगाई अपने रिकॉर्ड हाई पर पहुंच गया. स्थिति यह कि आर्थिक संकट की मार झेल रहे श्रीलंका को भारत की ओर से पेट्रोलियम और खाद्य पदार्थों के जरिए मदद पहुंचाई गई.

पलाली हवाई अड्डे से शुरू होगी उड़ान

श्रीलंका के नागर विमानन मंत्री निमल सिरिपाला डी सिल्वा ने कहा कि जाफना से भारत की उड़ान सेवा दोबारा शुरू किए जाने से देश के पर्यटन उद्योग को समर्थन मिलेगा और आर्थिक संकट को कम करने में मदद मिलेगी. श्रीलंका के पर्यटन विकास प्राधिकरण का लक्ष्य साल के शेष महीनों में आठ लाख पर्यटकों को आकर्षित करने का है. सिरिपाला डी सिल्वा ने कहा कि उत्तरी जाफना प्रायद्वीप के पलाली हवाईअड्डे से भारत के लिए उड़ानें अगले महीने फिर शुरू हो जाएंगी. हालांकि, उन्होंने इसके लिए कोई निश्चित तिथि नहीं बताई.

डॉलर संकट से उबरने में मिलेगी मदद

श्रीलंका के नागर विमानन मंत्री सिरिपाला डी सिल्वा ने कहा कि जाफना से भारत की उड़ानें दोबारा शुरू होने से देश को मौजूदा डॉलर संकट से निकलने में मदद मिलेगी. उन्होंने कहा कि मौजूदा हवाईपट्टी के जरिये अभी सिर्फ 75 सीट का विमान उड़ान भर सकता है. इसका विस्तार करने की जरूरत है. उन्होंने उम्मीद जताई कि भारत इस हवाईपट्टी के विस्तार में सहयोग देगा.

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नवंबर 2019 से बंद हैं उड़ान सेवाएं

बता दें कि अक्टूबर, 2019 में पवाली हवाईअड्डे को जाफना अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे का नाम दिया गया था. यहां पहली अंतरराष्ट्रीय उड़ान चेन्नई से उतरी थी. 2019 में इस हवाईअड्डे के पुनर्विकास का वित्तपोषण श्रीलंका और भारत ने किया था. इससे पहले भारत की अलायंस एयर चेन्नई से पलाली के लिए सप्ताह में तीन उड़ानों का परिचालन करती थी, लेकिन नवंबर, 2019 में श्रीलंका में सरकार बदलने के बाद यह उड़ान बंद हो गई थी.

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