Tata Group: जिओ पॉलिटिकल दवाब और वैश्विक युद्ध की स्थिति के बीच, भारतीय शेयर बाजार में डिफेंस सेक्टर से जुड़े शेयरों में अच्छी तेजी देखने को मिल रही है. प्रॉफिट की संभावना और आकर्षक रिटर्न निवेशकों को लुभा रही है. इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मेक इन इंडिया कैपेन से भी रक्षा क्षेत्र से जुड़ी कंपनियों को बल मिला है. केंद्र सरकार के द्वारा 2023-24 के रक्षा बजट में भी, इस पर फोकस किया गया है. इस बीच, टाटा ग्रुप के टाटा एआई लाइफ इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड ने डिफेंस सेक्टर की कंपनी जेन टेक्नोलॉजीज लिमिटेड (ZTL) के शेयर 725 रुपये की दर से 20 लाख शेयरों की खरीदारी की है. बताया जा रहा है कि इस कंपनी में शेयर बाजार के दिग्गज मुकुल अग्रवाल के पहले 11,26,765 शेयर हैं. उनके पास कंपनी की 1.34 प्रतिशत हिस्सेदारी है. 30 सितंबर, 2023 तक, ZTL के पास 1,403.43 करोड़ रुपये की शानदार ऑर्डर बुक है. कंपनी के शेयर खरीदकर टाटा के द्वारा खरीदने की खबर से निवेशक इसपर टूट पड़े हैं. आज सुबह 12.49 बजे कंपनी के शेयर, 3.84 प्रतिशत यानी 28.65 रुपये की तेजी के साथ 775.50 रुपये पर कारोबार कर रहा था.
कंपनी ने दिया 314 प्रतिशत रिटर्न
टाटा ग्रुप के निवेश से पहले भी कंपनी के शेयर में तेजी देखने को मिल रही थी. पिछले साल दो जनवरी को कंपनी के शेयर 187.25 रुपये पर था. जबकि, आज 26 दिसंबर को 314.55 प्रतिशत यानी 589 रुपये की तेजी के साथ 776.25 रुपये पर कारोबार कर रहा है. पिछले छह महीने में कंपनी ने करीब 85.31 प्रतिशत 357.35 रुपये पर कारोबार कर रहा था. अनुमान है कि ZTL के राजस्व में अपेक्षित वृद्धि, संभावित रूप से FY25 में 1,000 करोड़ रुपये का आंकड़ा पार कर जाएगा. विशेज्ञषों का मानना है कि इजरायल और खाड़ी देशों के बीच जंग जारी है. वहीं, रूस और युक्रेन के बीच भी जंग हो रही है. ऐसे में, ग्लोबल पॉलिटिक्स और वैश्विक आर्थिक परिवेश को देखते हुए, स्टॉक के और गरम होने की संभावना है.
क्या करती है ZTL
जेन टेक्नोलॉजीज लिमिटेड (ZTL) की स्थापना 1993 में हुई थी. कंपनी पीसी-आधारित प्रशिक्षण सिमुलेटर और एंटी-ड्रोन सिस्टम के विकास, डिजाइन और आपूर्ति करती है. जेटीएल के पास कार्य का लंबा अनुभव है. ये ISO 9001:2008 (QMS), ISO 27001:2005 (ISMS) सर्टिफिकेट और CMMI लेवल 3 वाली कंपनी है. भारत सरकार के विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय के वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान विभाग ने कंपनी के R&D को अपनी स्वीकृति दी है. कम समय में स्मॉल-कैप में कंपनी के बेहतरीन प्रदर्शन से निवेशकों का ध्यान अपनी तरफ खींचा है. बता दें कि इस साल भारत सरकार ने रक्षा सेवाओं में आधुनिकीकरण और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 1,62,600 करोड़ रुपये का आवंटन. सरकार के द्वारा दी गयी से राशि पिछले साल की तुलना में करीब 6.7 प्रतिशत तक ज्यादा है.
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