RBI ने कहा, भारतीय अर्थव्यवस्था में नहीं आएगी सुस्ती, रफ्तार रहेगी बरकरार

फरवरी के अंत में जारी आर्थिक वृद्धि संबंधी आंकड़े अन्य देशों की तुलना में भारत को बेहतर स्थिति में दर्शाते हैं. इसके लिए घरेलू अर्थव्यवस्था के जुझारूपन के साथ ही घरेलू कारकों पर निर्भरता भी एक अहम घटक रही है. वर्ष 2023 में वैश्विक वृद्धि पर मंदी की आशंका के बावजूद भारत कहीं अधिक मजबूत बनकर उभरा है.

By KumarVishwat Sen | March 21, 2023 8:35 PM

मुंबई : भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने अपने एक लेख में कहा है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था की तरह भारतीय अर्थव्यवस्था में सुस्ती नहीं आएगी और वित्त वर्ष 2022-23 में हासिल वृद्धि की रफ्तार आगे भी कायम रहेगी. रिजर्व बैंक के बुलेटिन के मार्च संस्करण में प्रकाशित एक लेख में अर्थव्यवस्था की स्थिति का आकलन पेश करते हुए कहा गया है कि तमाम समस्याओं के बावजूद रिजर्व बैंक भारत को लेकर आशावादी बना हुआ है.

अन्य देशों के मुकाबले भारत की स्थिति बेहतर

मंगलवार को प्रकाशित आरबीआई बुलेटिन के मुताबिक, फरवरी के अंत में जारी आर्थिक वृद्धि संबंधी आंकड़े दुनिया के अन्य हिस्सों की तुलना में भारत को बेहतर स्थिति में दर्शाते हैं. इसके लिए घरेलू अर्थव्यवस्था के जुझारूपन के साथ ही घरेलू कारकों पर निर्भरता भी एक अहम घटक रही है. इसमें लिखा गया है कि वर्ष 2023 में वैश्विक वृद्धि पर मंदी की मार पड़ने की आशंका होने के बावजूद भारत शुरुआती धारणा के उलट महामारी के बाद कहीं अधिक मजबूत बनकर उभरा है और चालू वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में इसकी वृद्धि में तेजी बनी हुई है.

170.9 लाख करोड़ तक पहुंच सकता है जीडीपी

आरबीआई के डिप्टी गवर्नर माइकल देवव्रत पात्रा की अगुवाई वाले एक दल ने यह लेख लिखा है. लेखक दल का मानना है कि भारत का वास्तविक यानी स्थिर मूल्य पर सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) अगले वित्त वर्ष में बढ़कर 170.9 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच सकता है, जबकि वित्त वर्ष 2022-23 में इसके 159.7 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान है.

Also Read: भारत में खत्म हो गई महंगाई? आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास तो यही कर रहे हैं दावा

भारत में नहीं आएगी सुस्ती

लेख के मुताबिक, वैश्विक अर्थव्यवस्था के उलट भारत में सुस्ती नहीं आएगी. यह वर्ष 2022-23 में हासिल वृद्धि की रफ्तार को कायम रखेगा. हम भारत को लेकर आशावादी बने हुए हैं, चाहे जैसे भी हालात हों. केंद्रीय बैंक ने साफ किया है कि लेख में कही गयी बातें, लेखकों के अपने विचार हैं और वह रिजर्व बैंक के विचार का प्रतिनिधित्व नहीं करता है.

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Next Article

Exit mobile version